असल में एक रिपोर्ट में कहा गया है कि, सितंबर में नरेंद्र मोदी की अगुवाई वाली सरकार ने कोरोनाके प्रभाव को कम करने के लिए मालद्वीप को 250 मिलियन डॉलर का एक और ऋण दिया था।
नई दिल्ली। भारत ने मालदीव के साथ दोस्ती को और मजबूत करते हुए उसे तोहफा दिया है। भारत सरकार पहले भी मालदीव सरकार को आर्थिक मदद दे चुकी है और भारत सरकार के स्वामित्व वाले एक्जिम बैंक ने मार्च 2019 में 800 मिलियन डॉलर का वादा किया था। वहीं कोरोना के कारण मालदीव की आर्थिक स्थिति कमजोर हुई है।
असल में एक रिपोर्ट में कहा गया है कि, सितंबर में नरेंद्र मोदी की अगुवाई वाली सरकार ने कोरोनाके प्रभाव को कम करने के लिए मालद्वीप को 250 मिलियन डॉलर का एक और ऋण दिया था। इन परियोजनाओं पर चर्चा करने के लिए मालदीव में भारत के उपायुक्त संजय सुधीर ने मोहम्मद जैश इब्राहिम (मालदीव के आवास विकास निगम लिमिटेड के अध्यक्ष) से मुलाकात की। मालदीव में 800 मिलियन अमरीकी डालर की मदद से हुलहुमले में एक 100-बेड का अत्याधुनिक कैंसर अस्पताल स्थापित किए जाने की योजना है। इसके जरिए स्वास्थ्य क्षेत्र में पहले से ही घनिष्ठ द्विपक्षीय सहयोग बढ़ेगा।
मालदीव सरकार का कहना है कि सेंट्रल पार्क और हल्हुमले में आगमन जेटी के नवीकरण के योजनाएं उनके करीब हैं और इससे मालदीव को फायदा होगा। असल में मालदीव पर चीन का दबाव है और पिछली सरकार में मालदीव की सरकार ने चीन से कर्ज लिया था। अब इस कर्ज को लौटाने का दबाव है। लिहाजा भारत ने आगे बढ़कर मालदीव की आर्थिक मदद की। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी भी मालदीव को करीबी मित्र मानते हैं और पिछले दिनों मुस्लिम देशों के संगठन में मालदीव ने पाकिस्तान का विरोध किया था। जबकि पाकिस्तान का दावा था कि भारत में मुस्लिमों का शोषण किया है।
Last Updated Oct 4, 2020, 2:31 PM IST