Church
(Search results - 18)ViewsDec 25, 2018, 4:30 PM IST
जीसस क्राइस्ट पर भारत के प्रभाव को नकारता क्यों है चर्च?
जीसस क्राइस्ट यानी ईसा मसीह का आज जन्मदिन है। एक महान संत और ईश्वरपुत्र के रुप में मानवता को उनकी देन असंदिग्ध है। लेकिन आपको यह जानकर आश्चर्य होगा कि जीसस मूल रुप से सनातन परंपरा के वाहक थे। उनके मूल विचार आर्य अष्टांगिक मार्ग से मेल खाते हैं। लेकिन इन बातों को जानबूझकर छिपाया गया और उसके मूल विचारों के उपर सेमेटिक(एक पैगंबर,एक किताब) विचारों का मुलम्मा चढ़ा दिया गया। ऐसा जीसस की मौत के रोमन सम्राट कॉन्सटेन्टाइन के जमाने में किया गया। ईसा की मौत के 325 साल बाद नायसिया(वर्तमान तुर्की) में एक परिषद् बुलाई गई, जिसमें जीसस के देवत्व की घोषणा की गई। जिसके बाद रोमन साम्राज्यवाद ने ईसा मसीह के व्यक्तित्व को अपना शासन फैलाने के नैतिक हथियार के रुप में इस्तेमाल करना शुरु कर दिया। प्रेम और दया के प्रतीक ईसा के नाम पर जो खूनी लड़ाईयां हुईं, वह इतिहास में ‘क्रूसेड’ के नाम से आज भी याद की जाती हैं। ऐसा करने के लिए जानबूझ कर जीसस का भारत से संबंध झुठलाया जाने लगा। जानिए जीसस पर भारत के प्रभाव के जुड़े ऐतिहासिक और अहम तथ्य़-
NewsOct 22, 2018, 1:19 PM IST
केरल नन रेप केस में गवाह फादर कुरियाकोस की संदिग्ध परिस्थितियों में मौत
पंजाब के होशियारपुर स्थित अपने घर में मृत पाए गए फादर कुरियाकोस। कुछ दिन पहले बिशप मुलक्कल के खिलाफ दर्ज कराया था बयान। परिजनों ने मौत को साजिश बताया।
NewsJul 12, 2018, 5:33 PM IST
खूंटी गैंगरेपः कैथोलिक चर्च की शीर्ष संस्था के पदाधिकारियों पर बड़ी कार्रवाई
संघ के पूर्व प्रचारक और एलआरओ के प्रमुख विनय जोशी ने सीबीसीआई के महासचिव बिशप थियोडोर मैस्करेनहास और कार्डिनल टेलेफोर टोप्पो पर फादर अल्फांसो आइंड का 'बचाव' करने का आरोप लगाया। अल्फांसो के बुलावे पर ही मिशनरीज स्कूल में कार्यक्रम करने पहुंची थीं पांचों युवतियां