₹50 हजार से शुरूआत, आज ₹100 करोड़ का ब्रांड, जानिए कैसे एक छोटे से आइडिया ने बनाया इस लड़के को अरबपति?

Rajkumar Upadhyaya |  
Published : Jan 10, 2025, 10:59 AM ISTUpdated : Jan 10, 2025, 11:03 AM IST
₹50 हजार से शुरूआत, आज ₹100 करोड़ का ब्रांड, जानिए कैसे एक छोटे से आइडिया ने बनाया इस लड़के को अरबपति?

सार

जानिए नाहर ब्रदर्स की कहानी, जिन्होंने ₹50 हजार से ZORKO की शुरुआत की और इसे ₹100 करोड़ का ब्रांड बनाया। आइए जानते हैं उनकी इं​स्पिरेशनल स्टोरी।

नई दिल्ली: कहते हैं, अगर जुनून और मेहनत का साथ हो, तो सपनों को हकीकत बनने से कोई नहीं रोक सकता। कुछ ऐसा ही कर दिखाया नाहर ब्रदर्स—आनंद नाहर और अमृत नाहर ने। सूरत के एक साधारण मीडिल क्लास फैमिली से आने वाले इन भाइयों ने ₹50,000 के छोटे से इंवेस्टमेंट से शुरुआत कर आज ₹100 करोड़ के ब्रांड ZORKO को खड़ा कर दिया।जानिए कैसे खाने के शौक ने इन्हें एक नया रास्ता दिखाया और ZORKO भारत के सबसे तेजी से बढ़ते फूड ब्रांड्स में से एक बन गया।

कैसे इंजीनियर से बन गए बिजनेसमैन?

आनंद और अमृत दोनों ही इंजीनियरिंग बैकग्राउंड से आते हैं। आनंद ने ऑटोमोबाइल इंजीनियरिंग में बी.टेक किया, जबकि अमृत ने पर्यावरण इंजीनियरिंग में बी.ई.। पढ़ाई के बाद दोनों भाइयों ने शेयर मार्केट में कदम रखा। आनंद ने 2016 में एक ब्रोकरेज फर्म में फ्रीलांस बिजनेस डेवलपमेंट एग्जीक्यूटिव के रूप में काम करना शुरू किया और बाद में अमृत भी उनके साथ जुड़ गए। लेकिन, शेयर मार्केट की दुनिया में दोनों का मन ज्यादा नहीं लगा। कोरोना महामारी के दौरान उन्हें एक नया आइडिया मिला, जिसने उनकी जिंदगी हमेशा के लिए बदल दी।

कोरोना ने बदल दी सोच

2020 की कोरोना महामारी ने न सिर्फ दुनिया को बदल दिया, बल्कि नाहर भाइयों के लिए भी टर्निंग प्वाइंट साबित हुआ। जब लॉकडाउन के कारण सभी अपने घरों में कैद थे, आनंद और अमृत ने खाना पकाने की हॉबी को गंभीरता से लेना शुरू किया। उन्होंने घर पर नए-नए डिशेज के साथ प्रयोग किए और अपने बनाए खाने को सोशल मीडिया पर पोस्ट किया। यह शौक धीरे-धीरे जुनून में बदल गया। सोशल मीडिया पर मिले शानदार रिस्पॉन्स ने उन्हें सोचने पर मजबूर किया कि क्यों न खाने के इस शौक को एक बिज़नेस में बदला जाए।

कैसे हुई जोर्को की शुरुआत?

2021 में, आनंद और अमृत ने सूरत में 550 वर्ग फुट के एरिया में एक बंद हो चुके रेस्टोरेंट को खरीदा। उन्होंने ₹50,000 का शुरुआती इंवेस्टमेंट किया और किफायती लेकिन क्वालिटी वाले खाने का एक अनोखा कांसेप्ट तैयार किया। उनका विचार था कि यदि बेहतरीन क्वालिटी का खाना लोगों को कम दाम में मिले और स्वाद ऐसा हो कि कस्टमर बार-बार खींचा आए तो अच्छा बिजनेस चल सकता है। पहला रेस्टोरेंट लॉन्च होते ही सफल हो गया। उन्होंने हॉट कॉफी, जंबो बर्गर, चीज बर्स्ट पिज्जा, और मोमो चीज बाइट पिज्जा जैसे मेन्यू आइटम्स पर फोकस किया।

ब्रांड के प्रमोशन में सोशल मीडिया का यूज

अपने ब्रांड को प्रमोट करने के लिए नाहर ब्रदर्स ने सोशल मीडिया का भरपूर यूज किया। उन्होंने कस्टमर्स को रेस्टोरेंट को सोशल मीडिया पर टैग करने के लिए मोटिवेट किया और बदले में अगले ऑर्डर पर 20% की छूट दी। इस स्ट्रैटेजी ने न सिर्फ उनके ब्रांड की पहचान बनाई, बल्कि ग्राहकों की संख्या भी तेजी से बढ़ाई। पहले ही महीने में उनके रेस्टोरेंट ने ₹3 लाख का रेवेन्यू जेनरेट किया। 

ZORKO के 42 से ज्यादा शहरों में 250 से अधिक आउटलेट

पहले आउटलेट की सफलता के बाद, नाहर भाइयों ने फ्रेंचाइजी मॉडल पर काम करना शुरू किया। इस मॉडल ने उन्हें भारत के कई शहरों में अपनी मौजूदगी दर्ज कराने में मदद की। आज ZORKO के 42 से ज्यादा शहरों में 250 से अधिक आउटलेट हैं। उनकी यह रणनीति उन छोटे उद्यमियों के लिए भी फायदेमंद साबित हुई, जो कम निवेश में एक सफल बिजनेस खड़ा करना चाहते हैं।

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