मिशेल को एनएसए अजित डोभाल के मार्गदर्शन में चल रहे अभियान के तहत प्रत्यर्पित कर भारत लाया गया है। दुबई से मिशेल को लाने के अभियान में समन्वय सीबीआई के अंतरिम निदेशक एम नागेश्वर राव ने किया।
अगस्ता वेस्टलैंड हेलीकॉप्टर घोटाला मामले में भारत को बड़ी कामयाबी मिली है। जांच एजेंसियां मंगलवार रात 3,600 करोड़ रुपये के इस वीवीआईपी हेलीकॉप्टर सौदे के कथित बिचौलिये और ब्रिटिश नागरिक क्रिश्चियन मिशेल को दुबई से प्रत्यर्पित करा भारत ले आई। मिशेल को गल्फस्ट्रीम जेट से मंगलवार रात दस बजकर 35 मिनट पर भारत लाया गया। क्रिश्चियन मिशेल अब सीबीआई की हिरासत में है। उसे अब कोर्ट में पेश किया जाएगा।
इससे पहले, सीबीआई की ओर से जारी एक बयान के मुताबिक, अगस्ता वेस्टलैंड हेलीकॉप्टर सौदे में कथित बिचौलिये क्रिश्चियन जेम्स मिशेल को राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार (एनएसए) अजित डोभाल के मार्गदर्शन में चल रहे एक अभियान के तहत प्रत्यर्पित कर भारत लाया गया है। दुबई से मिशेल को लाने के इस अभियान में समन्वय सीबीआई के अंतरिम निदेशक एम नागेश्वर राव ने किया। एजेंसी के संयुक्त निदेशक साई मनोहर के नेतृत्व में अधिकारियों की एक टीम दुबई गई। दुबई सरकार ने उसे प्रत्यर्पित करने की मंजूरी दे दी। मिशेल (57) दुबई में अपनी गिरफ्तारी के बाद से जेल में था और उसे यूएई में कानूनी और न्यायिक कार्यवाही के लंबित रहने तक हिरासत में भेज दिया गया था।
दुबई कोर्ट ऑफ कैसेशन ने मिशेल के वकील की ओर से दायर दो आपत्तियों को खारिज कर दिया था और भारत के अधिकारियों को उसे प्रत्यर्पित करने की संभावना पर विचार करने के अपीलीय अदालत के फैसले को बरकरार रखा था।
सीबीआई के प्रवक्ता अभिषेक दयाल ने यहां बताया कि मिशेल ने सह-आरोपियों के साथ मिलकर आपराधिक षड्यंत्र रचा। हेलीकॉप्टर घोटाले में अगस्ता वेस्टलैंड को ठेका दिलाने और भारतीय अधिकारियों को गैरकानूनी कमीशन या रिश्वत का भुगतान करने के लिए बिचौलिए के तौर पर मिशेल की संलिप्तता 2012 में सामने आई। उन्होंने बताया कि मिशेल जांच के लिए वांछित था लेकिन वह फरार हो गया और जांच में शामिल होने से बच रहा था। उसके खिलाफ पिछले साल सितंबर में आरोपपत्र दायर किया गया। उन्होंने कहा, ‘नई दिल्ली के पटियाला हाउस में सीबीआई मामलों के विशेष न्यायाधीश ने 24 सितंबर 2015 की तिथि वाला खुला गैर जमानती गिरफ्तारी वारंट जारी किया।’ सीबीआई प्रवक्ता ने बताया कि इस वारंट के आधार पर इंटरपोल ने रेड कॉर्नर नोटिस जारी किया जिससे फरवरी 2017 में उसे दुबई में गिरफ्तार कर लिया गया।
आरोप है कि मिशेल ने सह-आरोपियों के साथ मिलकर आपराधिक षडयंत्र रचा। सह आरोपी में तत्कालीन वायुसेना प्रमुख एसपी त्यागी और उनके परिवार के सदस्य शामिल हैं। षड्यंत्र के तहत लोक सेवकों ने वीवीआईपी हेलीकॉप्टर की उड़ान भरने की ऊंचाई 6000 मीटर से घटाकर 4500 मीटर कर अपने सरकारी पद का दुरुपयोग किया। भारत सरकार ने आठ फरवरी 2010 को रक्षा मंत्रालय के जरिए ब्रिटेन की अगस्ता वेस्टलैंड इंटरनेशनल लिमिटेड को लगभग 55.62 करोड़ यूरो का ठेका दिया था।
प्रवक्ता ने एक बयान में कहा कि मिशेल अगस्ता वेस्टलैंड हेलीकॉप्टर्स का ‘ऐतिहासिक परामर्शदाता’ बताया जाता है जिसे हेलीकॉप्टर, सैन्य अड्डों और पायलटों की तकनीकी संचालनात्मक जानकारी था। मिशेल 1980 के दशक से ही कंपनी के साथ काम कर रहा था और इससे पहले उसके पिता भी भारतीय क्षेत्र के लिए कंपनी के परामर्शदाता रह चुके थे। एजेंसी ने बताया कि वह कथित तौर पर बार-बार भारत आता रहता था और भारतीय वायुसेना तथा रक्षा मंत्रालय में सेवानिवृत्त तथा मौजूदा अधिकारियों समेत विभिन्न स्तरों पर सूत्रों के एक बड़े नेटवर्क के जरिए रक्षा खरीद के लिए बिचौलिए के तौर पर काम कर रहा था।
Under the guidance of Ajit Doval, National Security Advisor (NSA), the entire operation is being coordinated by Incharge Director M. Nageswara Rao. A team led by A. Sai Manohar, Joint Director/CBI has been to Dubai for the purpose: CBI https://t.co/mLAF3bJq7E
— ANI (@ANI)भारत ने 2017 में खाड़ी देशों से मिशेल के प्रत्यर्पण की मांग की थी। सीबीआई और ईडी इस मामले में मिशेल पर आपराधिक मामले के तहत जांच कर रहे थे। ईडी ने जून 2016 में मिशेल के खिलाफ चार्जशीट फाइल की थी। इसमें कहा गया था कि उसने अगुस्टा वेस्टलैंड से करीब 285 करोड़ रुपये प्राप्त किए। ईडी ने कहा था कि यह पैसा और कुछ नहीं, बल्कि कंपनी द्वारा 12 हेलीकॉप्टरों के समझौते को अपने पक्ष में कराने के लिए वास्तविक लेन-देन के 'नाम पर' दी गई 'रिश्वत' थी। फरवरी 2017 में उसे यूएई में उसे गिरफ्तार कर लिया गया था। मिशेल के वकील ने आरोप लगाया था कि केंद्रीय जांच ब्यूरो उनके क्लाइंट पर दबाव बना रही है। हालांकि जांच एजेंसी ने इन आरोपों से साफ इनकार किया था। अभिषेक दयाल ने जून में कहा था कि जांच एजेंसी ने मिशेल को अपना गुनाह कबूल करने के लिए प्रभावित नहीं किया। यूएई में तब से भगोड़े के खिलाफ प्रत्यर्पण की कार्यवाही जारी थी। अगस्ता वेस्टलैंड से भारत के लिए वीवीआईपी हेलिकॉप्टर खरीदने की इस डील में बड़ी रिश्वत देने का खुलासा हुआ था। कांट्रैक्ट के तहत 12 वीवीआईपी हेलीकॉप्टर की आपूर्ति की जानी थी, जो 1 जनवरी 2014 को रद्द कर दी गई।
मिशेल उन तीन बिचौलियों में से एक हैं जिनके खिलाफ जांच की जा रही है। गुइको हैश्के और कार्लो गेरेसा भी इस मामले में शामिल हैं। कोर्ट से गैरजमानती वारंट जारी होने के बाद दोनों एजेंसियों ने मिशेल के खिलाफ इंटरपोल रेड कॉर्नर नोटिस जारी कर दिया था। ईडी को जांच में पता चला था कि मिशेल अपनी दुबई की कंपनी ग्लोबल सर्विसेज के माध्यम से दिल्ली की एक कंपनी को शामिल करके अगुस्टा वेस्टलैंड से रिश्वत ली। इसमें भारत के भी दो लोग शामिल थे। मिशेल ने इन आरोपों से इनकार किया था।