जिस इस्राइली बम ने बालाकोट में मचाई तबाही, अब उससे सुखोई लड़ाकू विमान भी होंगे लैस

By Team MyNationFirst Published Mar 5, 2019, 2:31 PM IST
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पाकिस्तान से तनातनी के बीच वायुसेना अपनी मारक क्षमता को और धार देने के लिए सुखोई-30 विमानों को स्पाइस-2000 बम से लैस करेगी। शुरुआती ट्रायल हो चुका है पूरा। 

आतंकवाद के खिलाफ निर्णायक लड़ाई का ऐलान कर चुके भारत ने अपनी तीनों सेनाओं को सभी संभव तैयारियों की पूरी छूट दे दी है। चार दशक में पहली बार अंतरराष्ट्रीय सीमा के पार जाकर हवाई हमला करने वाली वायुसेना अपने सबसे मारक लड़ाकू विमान सुखोई-30एमकेआई को इस्राइल से मिले स्पाइस-2000 बम से लैस करने जा रही है। समाचार एजेंसी एएनआई ने वायुसेना सूत्रों के हवाले से यह खबर दी है। इसी बम से पाकिस्तान के बालाकोट में वायुसेना के मिराज-2000 विमानों ने 26 फरवरी को आतंकी संगठन जैश-ए-मोहम्मद का सबसे बड़ा ट्रेनिंग कैंप ध्वस्त किया था। 

पाकिस्तान से सटी पश्चिमी सीमा पर तैनाती को लेकर तेजी से बदल रहे घटनाक्रम के बीच वायुसेना के सूत्रों ने बताया है कि पिछले साल किए गए युद्धाभ्यास गगनशक्ति के चलते ऐसा करने में सफलता मिल रही है। उस अभ्यास में वायुसेना ने सभी मोर्चों पर उच्च लक्ष्यों वाले अभियानों का अभ्यास किया था। 

एएनआई ने सरकार के सूत्रों के हवाले से बताया है, 'इस समय इन बमों को दुश्मन के ठिकानों पर गिराने की क्षमता मिराज 2000 विमान में है। लेकिन अब वायुसेना अपनी मारक क्षमता को और धार देने के लिए सुखोई-30 विमानों को इन बमों से लैस करेगी।' भारत ने कुछ साल पहले इस्राइल से ऐसे 200 से ज्यादा बम खरीदे थे। सुखोई-30एमकेआई विमानों से इन बमों को जमीनी ठिकाने पर दागने का ट्रायल पहले ही किया जा चुका है। 

Air Force to equip Sukhoi-30s with Spice-2000 bombs used in air strikes inside Pakistan

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— ANI Digital (@ani_digital)

सूत्रों के अनुसार, 'कुछ और परीक्षणों के बाद सुखोई-30 के बेड़े को इन बमों से लैस किया जाएगा। इन बमों को ठिकानों की सूचना और सैटेलाइट से मिली तस्वीरों के आदार पर दागा जा सकता है। ये अपने लक्ष्य को पूरी तरह जमींदोज कर देते हैं।'

एक बार सुखोई-30 से इन्हें दागने की परीक्षण पूरा होने जाने के बाद यह वायुसेना की मारक क्षमता को कई गुना बढ़ा देगा। इस समय वायुसेना अपने मिराज 2000 विमानों से ही इन बमों को दाग सकती है। 

वायुसेना के पास इस समय मिराज 2000 विमानों की तीन स्क्वॉड्रन हैं। वायुसेना में अब तक 250 से ज्यादा मिराज विमानों को शामिल किया गया है। अगले साल के अंत  तक 20 और विमान भारतीय वायुसेना के बेडे़ में शामिल हो जाएंगे। 

वायुसेना ने 26 फरवरी को पाकिस्तान के बालाकोट में किए हवाई हमले में स्पाइस-2000 बमों का इस्तेमाल किया था। इस हमले का उद्देश्य पाकिस्तान के खैबर पख्तूनख्वा प्रांत के बालाकोट में आतंकी संगठन जैश-ए-मोहम्मद के ट्रेनिंग कैंप को तबाह करना था। 

यह हमला पुलवामा में 14 फरवरी को सीआरपीएफ के काफिले पर हुए आत्मघाती हमले के जवाब में किया गया था। पुलवामा हमले में 40 से ज्यादा जवान शहीद हो गए थे। 

 जैश-ए-मोहम्मद का सरगना मसूद अजहर लगभग 20 साल से भारत के खिलाफ आतंकी गतिविधियां चला रहा है। इंडियन एयरलाइंस की हाईजैक की गई फ्लाइल आईसी-814 के यात्रियों की रिहाई के बदले में भारत सरकार ने जेल में बंद मसूद अजहर को रिहा किया था। 

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