लॉकडाउन के बावजूद लोग इसका तोड़ने में पीछे नहीं हैं। ये जानते हुए भी सरकार द्वारा उठाए गए कदम हम ही लोगों की भलाई के लिए हैं। लोग इसको तोड़ रहे हैं। ऐसा ही मामला बिहार के एक गांव में देखने को मिला जहां पहले तो निकाह हुआ और उसके बाद दावत-ए-वलीमा का कार्यक्रम चल रहा था।
पटना। देशभर में चल रहे 21 दिनों के लॉकडाउन के बावजूद लोग इसका तोड़ने में पीछे नहीं हैं। ये जानते हुए भी सरकार द्वारा उठाए गए कदम हम ही लोगों की भलाई के लिए हैं। लोग इसको तोड़ रहे हैं। ऐसा ही मामला बिहार के एक गांव में देखने को मिला जहां पहले तो निकाह हुआ और उसके बाद दावत-ए-वलीमा का कार्यक्रम चल रहा था। जिसमें लोग पहुंच और लॉकडाउन के नियमों की धज्जियां उडा़ई। लेकिन इसके बाद वहां पुलिस पहुंची और दूल्हा-दुल्हन सहित पांच पर रिपोर्ट दर्ज कर दी गई।
पुलिस से मिली जानकारी के मुताबिक कोरोना वायरस के मद्देनजर सरकार के आदेश को न मानने और सरकारी आदेश का उल्लंघन करने के आरोप दुल्हा और दुल्हन समेत पांच लोगों पर एफआईआर दर्ज किया गया है। जिसमें दूल्हा मोहम्मद सद्दाम और उसके पिता रफीक मुख्य आरोपी है। जहां पीएम से लेकर सीएम तक सोशल डिस्टेंसिंग की बात कह रहे हैं वहीं जनता इन नियमों की धज्जियां उड़ी रही है। जबकि सरकार ने साफ किया है कि शादी विवाह जैसे कार्यक्रम में कम से कम लोगों को आमंत्रित करें।
क्योंकि इससे कोरोना वायरस का संक्रमण फैल सकता है। बिहार के कटिहार के बलिया बेलोन थाना में इसके लिए रिपोर्ट दर्ज की गई है। जानकारी के मुताबिक इलाके के विधारा गांव निवासी मोहम्मद सद्दाम का निकाह थे और उसके पिता ने कोरोना बीमारी की अनदेखी कर अपने बेटे का निकाह किया इसके बाद दूसरे दिन गांव में दावत ए वलीमा का आयोजन किया। जिसमें काफी लोगों ने हिस्सा लिया था। लिहाजा राज्य की पुलिस ने लॉक डाउन कानून का उल्लंघन के लिए दूल्हा-दुल्हन के अलावा दूल्हे के मां-बाप समेत कुल 5 लोगों पर एफआईआर दर्ज की है।