कमलनाथ ने हालांकि सभी को साधने की कोशिश की, लेकिन नए विधायक सरकार के खिलाफ बागी तेवर अपनाए हुए हैं। लिहाजा नई सरकार में विधायकों और मंत्रियों के तेवर पर राज्य के पूर्व मुख्यमंत्री शिवराज सिंह ने चुटकी ली है।
मध्य प्रदेश में कांग्रेस की नई सरकार बनते ही विधायकों में मंत्री बनने और जो मंत्री बनाए गए हैं उनकी विभागों को लेकर खींचतान शुरू हो गयी है। कमलनाथ ने हालांकि सभी को साधने की कोशिश की, लेकिन नए विधायक सरकार के खिलाफ बागी तेवर अपनाए हुए हैं। लिहाजा नई सरकार में विधायकों और मंत्रियों के तेवर पर राज्य के पूर्व मुख्यमंत्री शिवराज सिंह ने चुटकी ली है। उन्होंने कमलनाथ पर निशाना साधते हुए कहा कि राज्य को कितने मुख्यमंत्री चला रहे हैं। इसकी जानकारी जनता को देनी चाहिए।
प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री शिवराज चौहान ने मुख्यमंत्री कमलनाथ के नेतृत्व में कांग्रेस की नवगठित सरकार पर निशाना साधते हुए कहा कि मंत्रियों के विभागों के वितरण में इतना अधिक समय लगना चिंता का विषय है। उन्होंने कहा कि ऐसे में सवाल पैदा होता है कि मध्यप्रदेश में मुख्यमंत्री के अलावा और कौन - कौन सरकार को चला रहा है। चौहान राज्य में कांग्रेस की सरकार बनने के साथ ही राज्य में सक्रिय हो गए हैं। वह कमलनाथ सरकार को किसी भी तरह का मौका नहीं देना चाहते हैं। राज्य में खाद की कमी के लिए उन्होंने सीधे तौर पर राज्य सरकार को जिम्मेदार ठहराते हुए कहा कि राज्य में नई सरकार बनने के बाद से ही खाद संकट शुरू हुआ है।
शिवराज राज्य की राजनीति में ही सक्रिय रहना चाहते हैं। लिहाज वह सरकार का विरोध कर इसके जरिए केन्द्र को संदेश देना चाहते हैं कि राज्य में वह ही एक मात्र नेता हैं जो कमलनाथ और कांग्रेस की सरकार के खिलाफ खड़े हो सकते हैं।शिवराज राज्य में तीन बार मुख्यमंत्री रहे। शिवराज ने कहा कि मंत्रिमंडल में किसे मंत्री बनाया जाये और क्या विभाग दिया जाए यह मुख्यमंत्री का विशेषाधिकार होता है, लेकिन जिस तरह की खबरें आ रही हैं उससे लग रहा है कि मुख्यमंत्री अपने मंत्री तय नहीं कर रहे हैं बल्कि कांग्रेस के अलग-अलग गुट के नेता मंत्री तय कर रहे हैं। चौहान ने कहा कि कांग्रेस को 30 नवंबर तक का किसानों का दो लाख रुपये का कर्ज माफ करना चाहिए। कमलनाथ की सरकार द्वारा आरएसएस की शाखाओं पर प्रतिबंध लगाने के सवाल पर शिवराज ने कहा कि ये गलती कई नेता पहले चुके हैं और एक बार नेहरु जी ने और इंदिरा जी ने ऐसा प्रतिबंध लगाया था लेकिन उन्हें इसे हटाना पड़ा।