गाड़ी में अगर आप इस वक्त डलवाते हैं डीजल-पेट्रोल तो हो जाइए सावधान! अन्यथा होगा तगड़ा नुकसान

By Surya Prakash TripathiFirst Published Apr 27, 2024, 10:52 AM IST
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Petrol-Diesel Density: क्या आपको पता है कि वाहनों में डीजल-पेट्रोल भरवाने का भी एक समय होता है। अगर उसका ख्याल नहीं रखते हैं तो आपको इसका तगड़ा खामियाजा भुगतना पड़ सकता है। खासकर गर्मी के दिनों में इस टाइम टेबल का तो विशेष ख्याल रखना चाहिए।

Petrol-Diesel Density: क्या आपको पता है कि वाहनों में डीजल-पेट्रोल भरवाने का भी एक समय होता है। अगर उसका ख्याल नहीं रखते हैं तो आपको इसका तगड़ा खामियाजा भुगतना पड़ सकता है। खासकर गर्मी के दिनों में इस टाइम टेबल का तो विशेष ख्याल रखना चाहिए। क्योकि गर्मी में पेट्रोल की डेंसिटी बढ़ जाती है, जिससे आपको पंप पर पेट्रोल कम मिलता है। जिससे आपकी गाड़ी के मायलेज और जेब पर प्रभाव पड़ता है।

Petrol-Diesel Density के दिनों में इन बातों का रखें ख्याल
अगर आप वाहन चलाते हैं तो जाहिर सी बात है उसमें डीजल पेट्रोल की जरूरत होती है, लेकिन क्या आपको पता है कि गर्मी के दिनो में 11 बजे से लेकर शाम को 5 बजे के बीच में अगर आप पेट्रोल-डीजल अपने वाहन में डलवाते हैं तो उसमें आपकों नुकसान उठाना पड़ता है। नहीं जानते हैं तो चलिए हम बताते हैं कि क्यों और कैसे? यदि आपके पास 2 या 4 पहिया वाहन है तो आप उनमें तेल डलवाने से पहले सावधान हो जाइए।

Petrol-Diesel Density से क्या होता है नुकसान?
गाड़ियों में दिन के समय तेल भरवान नुकसानदेय हो सकता है। बेहतर होगा कि  आप सुबह 10 बजे के पहले और शाम को 5 बजे के बाद डीजल पेट्रोल भरवाएं। दिन में तेल भरवाते समय तेल की डेंसिटी बढ़ जाती है, जिससे तेल कम मात्रा में मिलता है। टेंप्रेचर बढ़ने के साथ तरल पदार्थ का आयतन (volume of liquid) भी बढ़ता है। जिससे तेल कम मिलता है, क्योकि डीजल-पेट्रोल किलोग्राम में नहीं लीटर से मापा जाता है। पेट्रोल कंपनियों के अनुसार 32 डिग्री सेल्सियस के तापमान में तेल अपनी 2 प्रतिशत एनर्जी खो देता है, जिससे 70 किमी का माइलेज देने वाला वाहन 68 किमी प्रति लीटर का ही माइलेज दे पाता है।


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Petrol-Diesel Density के बारे में क्या कहते हैं एक्सपर्ट?
इस संबंध में एक्सपर्ट्स की राय है कि  पेट्रोल की माप और शुद्धता में उसका घनत्व ज्यादा जरूरी होता है। जानकारी के अभाव में लोग डीजल- पेट्रोल डलवाते वक्त सिर्फ रुपये और मीटर को देखा करते हैं, लेकिन डेंसिटी मीटर पर नजर नहीं डालते हैं। जबकि पेट्रोल-डीजल डलवाते समय ग्राहक को डेंसिटी मीटर पर भी नजर डालनी चाहिए। लखनऊ सिटी कॉलेज के फिजिक्स के टीचर अजय श्रीवास्तव बताते हैं कि हाइड्रोमीटर से पेट्रोल की डेंसिटी मापी जाती है। डेंसिटी मापने के लिए टेम्प्ररेचर व हाईड्रोमीटर की रीडिंग की जाती है। 
 

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