एलजीबीटी समुदाय के लिए सबसे अहम फैसले का एक साल, अभी भी मीलों चलना है बाकी

Abhinav Khare  | Published: Sep 6, 2019, 6:45 PM IST

समलैंगिक और एलजीबीटीक्यूआई समुदाय के लिए यह साल उनके जीवन में नाटकीय रुप से बदलाव लाने वाला रहा है। लेकिन इसके बावजूद उनके लिए पूरी तरह समानता और न्याय पाने का काम पूरा नहीं हो पाया है। इस समुदाय को हमेशा हाशिए पर, सामाजिक बहिष्कार, बहिष्कार और असमानताओं का सामना करना पड़ा है। उन्हें हमेशा के लिए एक हाशिए के अंदर जीने के लिए मजबूर किया जाता है। उन्हें हमेशा प्रतिशोध और यहां तक ​​कि उत्पीड़न से भी भयभीत रहना पड़ता है। होमोफोबिया, बाइफोबिया और ट्रांसफोबिया का यह कुसंस्कार हमारे दृष्टिकोण, माहौल और नीतियों में अंदर तक समाया हुआ है।