कंप्यूटर और लैपटॉप यूजर्स के लिए बड़ा खतरा मंडरा रहा है। सरकार ने इसके लिए नई वार्निंग एडवाईजरी जारी कर दी है। जिसमें कहा गया है कि लैपटॉप और कंप्यूटर यूजर्स का बैंकिंग डाटा लीक हो सकता है। इसमें बैंक एकाउंट की डिटल से लेकर अन्य सूचनाएं भी लीक होने की आशंका जताई गई है।
कंप्यूटर और लैपटॉप यूजर्स के लिए बड़ा खतरा मंडरा रहा है। सरकार ने इसके लिए नई वार्निंग एडवाईजरी जारी कर दी है। जिसमें कहा गया है कि लैपटॉप और कंप्यूटर यूजर्स का बैंकिंग डाटा लीक हो सकता है। इसमें बैंक एकाउंट की डिटल से लेकर अन्य सूचनाएं भी लीक होने की आशंका जताई गई है। इसलिए इन सामग्रियों को विशेष सिक्योरिटी में रखने को कहा गया है।
Microsoft यूजर्स के लिए साइबर अटैक की चेतावनी
Microsoft यूजर्स के लिए साइबर अटैक की चेतावनी जारी की गई है। कंप्यूटर इमरजेंसी रिस्पांस टीम (CERT-in) की तरफ से जो चेतावनी दी गई है, उसमें महा गया है कि माइक्रोसाॅफ्ट के कई प्रोडक्ट पर साइबर अटैक का खतरा है। कहा गया है कि कंपनी की तरफ से बहुत सारे सिक्याेरिटी बाईपास किए गए हैं। जिनकी मदद से हैकर्स इस कंपनी के प्रोडक्टस को आसानी से हैक कर सकते हैं।
Cert-In ने जारी किया एलर्ट
मिनिस्ट्री ऑफ इलेक्ट्रॉनिक्स एंड इंफॉर्मेशन टेक्नोलॉजी के तहत आने वाली सरकारी एजेंसी ने कई अन्य महत्वपूर्ण जानाकरियां भी शेयर की हैं। एजेंसी ने यूजर्स को सावधान करते हुए कहा है कि सावधानी हटी दुर्घटना घटी, इसलिए सचेत रहें। Cert-In की ओर से कहा गया है कि बहुत सारी रिपोर्ट्स सामने आई है और माइक्रोसॉफ्ट विंडो अटैकर्स को इसकी इजाजत देती है। इससे आपको सिक्योरिटी फीचर्स की वजह से टारगेट सिस्टम के साथ कंप्रोमाइज करना आसान हो जाता है।
माइक्रोसाफ्ट के इन प्रोडक्ट पर मडरा रहा खतरा
Microsoft Windows, Microsoft Office, Developer Tools, Azure, Brower, System Center, Microsoft Dynamics, और Exchange Server से आपको सतर्क रहने की जरूरत है। सरकारी एजेंसी ने इसको लेकर नया नोटिफिकेशन भी जारी कर दिया है। बचने के लिए आपको हमेशा सिस्टम अपडेट करके रखना चाहिए। सतर्क रहने के लिए बहुत जरूरी है कि आप किसी भी पॉप-अप को ओपन न करें और अंजान लिंक पर भी क्लिक करने से पहले आपको काफी सतर्क रहना होता है।
ये है न्यूज एलर्ट
Cert-In की रिपोर्ट के मुताबिक प्रॉक्सी ड्राइवर में बहुत सारी कमजोरियां दिखी हैं। माइक्रोसॉफ्ट विंडो में मार्क ऑफ द वेब भी हैकर्स को इजाजत दे सकता है। स्मार्टस्क्रीन सिक्योरिटी फीचर प्रोटेक्शन भी मार्क ऑफ द वेब मकैनिज्म को बायपास करता है। जिसके चलते इसकी मदद से टारगेट सिस्टम तक मैलवेयर के पहुंचने का रास्ता बन जाता है। स्पेशल रिक्वेस्ट भेजकर भी टारगेट किया जा सकता है।
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Last Updated Apr 13, 2024, 5:41 PM IST