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चंद्रय़ान तीन के साथ रूस का लूना-25 भी आगे बढ़ रहा है लेकिन इसी बीच लूना-25 में तकनीकी खराबी आ गई है।
रूसी अंतरिक्ष एजेंसी रोस्कोस्मोस ने कहा कि चंद्रमा पर उतरने से पहले लूना-25 की जांच के दौरान एक आपातकालीन स्थिति का पता चला है।
लूना-25 को 21 अगस्त को चंद्रमा के दक्षिणी ध्रुव पर उतरना है लेकिन लैंडिंग से पहले ऑटोमैटिक स्टेशन पर आपातकालीन स्थिति पैदा हो गई और इस वजह से मिशन की प्रक्रिया पूरी नहीं हो सकी।
जून में रोस्कोस्मोस के प्रमुख यूरी बोरिसोव ने राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन से कहा था कि ऐसे मिशन जोखिम भरे हैं और उनकी सफलता की संभावना लगभग 70 प्रतिशत है।
50 सालों बाद स्पेस में अपना मून मिशन भेज रहा है। इसे 11 अगस्त को लॉन्च किया गया था। लूना-25 बीत बुधवार को चंद्रमा की कक्षा में स्थापित हो गया था।
तकनीकी खराबी के बाद विशेषज्ञों की टीम फिलहाल स्थिति का विश्लेषण कर रही है।
भारत का चंद्रयान-3 भी चांद के करीब पहुंच चुका है। 23 अगस्त को चांद के दक्षिणी ध्रुव पर विक्रम लैंडर की सॉफ्ट लैंडिंग होने की उम्मीद है।