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UPSC CSE 2023 Topper: दिव्यांगता को मात देकर क्रैक की यूपीएससी, दाएं हाथ का यूज नहीं, व्हील-चेयर पर बॉडी

Rajkumar Upadhyaya |  
Published : Apr 17, 2024, 03:52 PM ISTUpdated : Apr 17, 2024, 03:55 PM IST
UPSC CSE 2023 Topper: दिव्यांगता को मात देकर क्रैक की यूपीएससी, दाएं हाथ का यूज नहीं, व्हील-चेयर पर बॉडी

सार

UPSC CSE 2023 के फाइनल रिजल्ट में केरल की सारिका ने 922वीं रैंक हासिल की है। जन्म से ही सेरेब्रल पाल्सी से पीड़ित हैं। मोटर से चलने वाली व्हील चेयर को कंट्रोल करने के लिए सिर्फ बाएं हाथ का यूज कर पाती हैं। आइए जानते हैं उनकी सफलता की कहानी।

UPSC CSE 2023 Topper Sarika: संघ लोक सेवा आयोग (UPSC) के फाइनल रिजल्ट में केरल की सारिका ने 922वीं रैंक हासिल की है। दिव्यांगता को मात देकर यूपीएससी जैसा कठिन एग्जाम क्रैक किया। इसी वजह से सारिका की सफलता की कहानी पूरे देश में चर्चा का विषय बनी हुई है, जो युवाओं के लिए प्रेरणादायक है। आइए जानते हैं कि सारिका ने दिव्यांगता को मात देकर कैसे क्रैक किया यूपीएससी 2023 एग्जाम?

जन्म से सेरेब्रल पाल्सी से पीड़ित

उत्तरी केरल के कोझिकोड जिले की रहने वाली सारिका जन्म से ही सेरेब्रल पाल्सी से पीड़ित हैं। अपने दाहिने हाथ का यूज नहीं कर पाती हैं। मोटर से चलने वाली व्हील चेयर का सहारा लेना पड़ता है। बाएं हाथ से उसे कंट्रोल करती हैं। दूसरे अटेम्पट में उन्हें यह सक्सेस मिली है। सारिका कहती हैं कि ऐसा कर पाई, इसकी मुझे खुशी है। मेरे पास अपनी भावनाओं को जाहिर करने के लिए शब्द नहीं हैं। उन्होंने ग्रेजुएशन के बाद ही सिविल सर्विसेज में जाने का निर्णय लिया था। परिवार, दोस्तों और टीचर्स का सपोर्ट मिला। 

'जब आप कुछ पाना चाहते हैं तो ब्रह्मांड करता है मदद'

पाउलो कोएल्हो की किताब 'अलकेमिस्ट' का जिक्र करते हुए सारिका कहती हैं कि...जब आप वास्तव में कुछ पाना चाहते हैं, तो पूरा ब्रह्मांड आपकी मदद करने की साजिश करता है। अमेरिकी महिला जेसिका कॉक्स भी बिना हाथ के लाइसेंस प्राप्त कर पायलट बनी थीं। कॉक्स ने पायलट बनने का ही सपना देखा था। माता—पिता का सपोर्ट हमेशा साथ रहा। उनके सहारे की वजह से अपना सपना पूरा कर पाई।

चुनौतियों का सामना कर आगे बढ़ती रहीं

सिविल सर्विस एग्जाम के हर फेज में सारिका को चुनौतियों का सामना करना पड़ा। मुश्किलों का सामना कर आगे बढ़ती रहीं। कोझिकोड में प्रीलिम्स एग्जाम सेंटर था। मेंस एग्जाम के लिए तिरूवनंतपुरम जाना पड़ा। एग्जाम की प्रक्रिया में एक सप्ताह का समय लगना था। इसलिए पैरेंट्स एक किराए के मकान में रूके। सारिका के पिता कतर में थे। पर अपनी बेटी को एग्जाम दिलाने के लिए वह वापस आए।

लेखक की मदद से लिखित परीक्षा

​यूपीएससी 2023 की लिखित परीक्षा में भी सारिका के सामने कम मुश्किले नहीं थीं। एक लेखक की मदद से परीक्षा दी। मेंस एग्जाम क्लियर करने के बाद दिल्ली में इंटरव्यू हुआ। उस दौरान कुछ दिनों तक केरल हाउस में ठहरीं। उनसे इंटरव्यू में ग्रेजुएशन के सब्जेक्ट से सवाल पूछे गए। आवेदन पत्र में उन्होंने जो जानकारियां शेयर की थी। इंटरव्यू बोर्ड ने उसको लेकर सवाल पूछे।

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