सोने ने पहुंचाया जेल, 'डील क्वीन' आई एनआईए की गिरफ्त में

By Team MyNation  |  First Published Jul 12, 2020, 9:39 AM IST

स्वप्ना सुरेश को आज कोच्चि में एनआईए (राष्ट्रीय जांच एजेंसी) कार्यालय में पेश किया जाएगा और यहां उससे पूछताछ की जाएगी। वह पिछले चार दिनों से फरार चल रही थी और उसने केरल हाईकोर्ट में जमानत की याचिका भी दायर की थी। लेकिन अदालत ने उनकी अग्रिम जमानत याचिका की सुनवाई को मंगलवार तक के लिए स्थगित कर दी है।

नई दिल्ली। केरल में सोना तस्करी मामले में राष्ट्रीय जांच एजेंसी यानी एनआईए ने मुख्य आरोपी और राज्य में डील क्वीन के नाम से जाने वाली स्वप्ना सुरेश को गिरफ्तार किया है। एनआईए ने स्वप्ना के साथ ही उसके परिवार के सदस्यों को गिरफ्तार किया है। इसके साथ ही एक अन्य आरोपी संदीप नायर को भी गिरफ्तार कर जेल भेज दिया गया है।

स्वप्ना सुरेश को आज कोच्चि में एनआईए (राष्ट्रीय जांच एजेंसी) कार्यालय में पेश किया जाएगा और यहां उससे पूछताछ की जाएगी। वह पिछले चार दिनों से फरार चल रही थी और उसने केरल हाईकोर्ट में जमानत की याचिका भी दायर की थी। लेकिन अदालत ने उनकी अग्रिम जमानत याचिका की सुनवाई को मंगलवार तक के लिए स्थगित कर दी है।

राष्ट्रीय जांच एजेंसी इस मामले में हाईकोर्ट को बताया था कि राजनयिक के सामान के जरिए विदेशों से सोने की तस्करी की जा रही थी और इस मामले में स्वप्ना सुरेश के खिलाफ गैरकानूनी गतिविधियां (रोकथाम) अधिनियम (पीएमएलए) के तहत केस दर्ज किया गया है। केरल में सोना तस्करी का मामला सामने आने के बाद  एनआईए ने स्वप्ना सुरेश, आर सरित कुमार, फाजिल फरीद व अन्य लोगों के खिलाफ केस दर्ज किया था।  

वहीं राज्य के सीएम पिनारयी विजयन ने कहा था कि सोना तस्करी मामले में मुख्य महिला आरोपी स्वप्ना सुरेश द्वारा एक सरकारी परियोजना में नियुक्ति हासिल करने की जांच कराई जाएगी। असल में इस मामले में राज्य सरकार के बड़े अफसर का नाम सामने आ रहा था। ये अफसर मुख्यमंत्री कार्यालय में तैनात था और राज्य में आईटी सचिव भी था। इस विभाग के तहत बनी कंपनी में स्वप्ना को नौकरी दी गई थी।  स्वप्ना उन चार आरोपियों में है जिनके खिलाफ 30 किलोग्राम सोने की तस्करी मामले में एनआईए जांच कर रही है।


सीएम कार्यालय से हटा गया आईएएस

सोना तस्करी कांड में राज्य के मुख्ममंत्री के कार्यालय में तैनात अफसर का नाम आ रहा है। इन अफसर का नाम आने के बाद उसे सीएम कार्यालय से हटा दिया गया। इस अफसर के बारे में कहा जा रहा है कि सोना पकड़े जाने के बाद उनसे कस्टम के अफसरों को फोन किया था। यही नहीं इस अफसर ने ही स्वप्ना को राज्य सरकार के अधीन एक पीएसयू में नौकरी भी दी थी।

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