महबूबा के बाद आतंकियों के खिलाफ तेज हुआ अभियान, राज्यपाल शासन में ढेर हुए 109 दहशतगर्द

By Gursimran Singh  |  First Published Dec 19, 2018, 5:22 PM IST

राज्य में 25 अगस्त को लगे राज्यपाल शासन के बाद से लेकर अब तक सुरक्षा बलों को कई बड़ी कामयाबियां मिली है जिनमें नावेद जट्ट, अबु माज और अबु हमास जैसे बड़े आतंकी कमांडरों का खात्मा शामिल है।

आतंकवाद के खिलाफ सेना के ऑपरेशन ऑलआउट को लगातार बड़ी कामयाबी मिल रही है। साल 2018 में आतंकियों की मौत का आंकड़ा 240 के करीब पहुंच गया है। 2017 में  213 आतंकी मारे गए थे। इस साल अभी तक सेना ने अन्य सुरक्षा बलों के सहयोग से 237 आतंकियों को मार गिराया। इनमें आतंकी संगठनों के कई टॉप कमांडर शामिल हैं।

जम्मू-कश्मीर पुलिस के एक वरिष्ठ अधिकारी ने 'माय नेशन' को बताया कि राज्य में 25 अगस्त को लगे राज्यपाल शासन के बाद से लेकर अब तक सुरक्षा बलों को कई बड़ी कामयाबियां मिली है जिनमें नावेद जट्ट, अबु माज और अबु हमास जैसे बड़े आतंकी कमांडरों का खात्मा शामिल है। उन्होंने बताया कि राज्य में राज्यपाल सत्यपाल मालिक के आने के बाद के सुरक्षा बलों को 109 आतंकियों को मार गिराने में सफलता मिली हैं। 

जम्मू-कश्मीर के पूर्व राज्यपाल एन एन वोहरा पर महबूबा मुफ़्ती और उनकी पार्टी पीडीपी का नजदीकी होने के आरोप लगते रहे। यही वजह रही कि उनकी जगह सत्यपाल मालिक को लाया  गया। राज्य में भाजपा के पीडीपी सरकार से समर्थन वापसी के बाद सुरक्षा बलों को बड़ी राहत मिली, क्योंकि पीडीपी शुरू से ही आतंकियों को लेकर नरम रुख रखने वाली पार्टी मानी जाती है।  

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अपने कार्यकाल के दौरान महबूबा मुफ्ती कई बार सुरक्षा बलों को आतंकियों के खिलाफ अभियानों में संयम बरतने की हिदायतें दे चुकी थीं। 2018 के पहले आठ महीनों में सुरक्षा बलों ने 128 आतंकी मारे। इन आंकड़ों के अनुसार पहले आठ महीनों में प्रतिमाह 16 आतंकी मारे गए थे। वहीं राज्यपाल शासन में यह आंकड़ा लगभग 1 आतंकी प्रतिदिन पहुंच गया। 

सुरक्षा एजेंसियों के सूत्रों की मानें तो जिस तरह के इनपुट एजेंसियों के पास मौजूद हैं उससे यह आंकड़ा 2018 के अंत तक 250 को पार कर सकता है।
 

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