लोकसभा चुनाव 2019: नेताओं के लिए नमो ऐप से निकलेंगे बीजेपी के टिकट

By Siddhartha Rai  |  First Published Oct 14, 2018, 3:01 PM IST

2019 लोकसभा चुनावों में खराब प्रदर्शन करने वाले बीजेपी सांसद पार्टी के टिकट से रह सकते हैं वंचित। आलाकमान ने नमो ऐप के माध्यम से 'पिपुल्स पल्स' नाम का अभियान चला सांसदों के काम का लेखा-जोखा खुद प्रधानमंत्री को उपलब्ध कराया है। काम के आधार पर ही पार्टी नेताओं को टिकट मिलेगा। संभावना है कई ऐसे नाम सामने आएंगे जो बहुत सुर्खियों में नहीं रहे। 

नई दिल्ली- आगामी आम चुनावों में बीजेपी के लिए नमों ऐप की भूमिका काफी बड़ी दिख रही है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का पर्सनल मोबाइल ऐप पार्टी के क्रिया-कलापों से सीधा जुड़ा होगा, यह मुफ्त में बड़ी संख्या में लोगों तक अपनी पहुंच रखता है। 

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने जिसे 'राष्ट्रवाद का टैबलेट' कहा उस नमो ऐप की भूमिका बड़ी होने जा रही है। सूत्रों ने माय नेशन को बताया है कि इससे भारतीय जनता पार्टी के सांसदों और विधायकों के प्रदर्शन का ब्योरा भी लिया गया है, जिससे यह तय होगा कि 2019 में वो पार्टी की टिकट के लिए योग्य हैं या नहीं।

'पिपुल्स पल्स' नाम से देशभर में चलाए गए फीडबैक अभियान में नमो ऐप के जरिए लोगों ने अपने क्षेत्र के सांसद, विधायकों को लेकर सीधा नरेंद्र मोदी को अपनी राय से अवगत कराया है। ऐप का नया 'अवतार' हाल ही में अभियान के पूरा होने के बाद लॉन्च किया गया था।

नाम न जाहिर करने की शर्त पर नमो ऐप टीम के एक सदस्य ने माय नेशन को बताया कि सिटिंग एमपी, विधायकों की किस्मत नमो ऐप पर मिले फीडबैक पर निर्भर करेगी। उनके कामकाज की जानकारी सीधे प्रधानमंत्री तक पहुंची है, जो देश की जनता के साथ सीधे संपर्क में रहना पसंद करते हैं, खासतौर पर कार्यकर्ताओं के। 

"टिकटों का वितरण नमो ऐप पर मिले फीडबैक पर निर्भर करता है। तमाम सिटिंग प्रतिनिधि टिकट के लिए हाथ-पैर मार रहे हैं, वहीं वो नए चेहरे जो कि जनता के बीच लोकप्रिय हैं लेकिन हाई कमान तक सीधी पहुंच नहीं रखते, 2019 में फ्रंटफुट पर आ सकते हैं।" भारतीय जनता पार्टी के सूत्र यह भी कन्फर्म करते हैं। 

इसी दौरान, भारतीय जनता पार्टी के चुनाव प्रचार में भी नमो ऐप की बड़ी भूमिका होगी। प्रधानमंत्री पहले ही नमो ऐप के जरिए आम लोगों और कार्यकर्ताओं से संवाद शुरू कर चुके हैं। नमो ऐप पार्टी के लिए बड़ा मंच उपलब्ध करा रहा है। पीएम मोदी किसी एक जगह की रैली की तुलना में ऐप के जरिए कई जगहों पर एक साथ अपनी मौजूदगी दर्ज करा पाएंगे। 

सूत्र यह भी बताते हैं कि "रैली के आयोजन में जहां बड़ा ताम-झाम और खर्चा है तो ऐप के माध्यम से लोगों से मुफ्त संवाद हो पाएगा।
 

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