आतंकवाद कुछ लोगों के लिए जंग लड़ने का नया तरीकाः सेना प्रमुख

- जनरल रावत ने कहा, आतंकवाद कई सिर वाले दानव की तरह पैर पसार रहा है और यह तब तक मौजूद रहेगा जब तक कुछ देश अपनी नीति के तौर पर इसका इस्तेमाल करना जारी रखेंगे।

Terrorism To stay As Long As Nations Use It As State Policy says Army Chief

सेना प्रमुख जनरल बिपिन रावत ने आतंकवाद को युद्ध का एक नया तरीका बताया है। उन्होंने कहा है कि यह ‘कई सिर वाले राक्षस’ की तरह अपने पैर पसार रहा है और यह तब तक मौजूद रहेगा जब तक कुछ देश अपनी नीति के तौर पर इसका इस्तेमाल करना जारी रखेंगे।

‘रायसीना डायलॉग’ के दौरान यहां एक पैनल चर्चा में जनरल रावत ने कहा कि सोशल मीडिया कट्टरपंथ को फैलाने का जरिया बन रहा है, इसलिए इसे नियंत्रित किए जाने की आवश्यकता है।

उन्होंने कहा कि जम्मू-कश्मीर समेत भारत में अलग-अलग तरह का कट्टरपंथ दिखाई दे रहा है। बहुत सी गलत एवं झूठी जानकारियों के कारण युवाओं के अंदर कट्टरता की भावना आ रही है और धर्म संबंधी कई झूठी बातें उनके दिमाग में भरी जा रही हैं।

जनरल रावत ने कहा, ‘इसलिए आप अधिक से अधिक शिक्षित युवकों को आतंकवाद की ओर बढ़ते देख रहे हैं।’ उन्होंने पाकिस्तान का नाम लिए बिना कहा कि देश जब तक राष्ट्र की नीति के तौर पर आतंकवाद को बढ़ावा देते रहेंगे, तब तक यह मौजूद रहेगा।

जनरल रावत ने कहा, ‘आतंकवाद युद्ध का एक नया तरीका बनता जा रहा है। एक कमजोर देश दूसरे देश पर अपनी शर्तें मानने का दबाव बनाने के लिए आतंकवादियों का इस्तेमाल कर रहा है।’ उन्होंने कहा कि आतंकवाद कई सिर वाले एक राक्षस की तरह अपने पैर पसार रहा है।

जनरल रावत ने अफगानिस्तान की शांति प्रक्रिया पर कहा कि तालिबान से बातचीत होनी चाहिए, लेकिन यह बिना किसी शर्त के होनी चाहिए। उन्होंने कहा कि आतंकवाद तालिबान का हमेशा छिपकर साथ देता रहा है और उसे इस बारे में चिंता करनी चाहिए। (इनपुट भाषा से)

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