कैबिनेट विस्तार में उलझे उद्धव, दो डिप्टी सीएम के लिए बढ़ा दबाव

By Team MyNation  |  First Published Dec 25, 2019, 7:59 AM IST

राज्य में कैबिनेट विस्तार इस हफ्ते के आखिर में होने की संभावना है। हालांकि ये भी कहा जा रहा है कि पौष महीना होने के कारण फिलहाल कैबिनेट विस्तार को अगले महीने की 15 तक टाला भी जा सकता है। लेकिन इसकी संभावना कम है। राज्य में सहयोगी दल शिवसेना पर कैबिनेट विस्तार के लिए लगातार दबाव बना रहे हैं। राज्य में 43 मंत्री ब सकते हैं जबकि अभी तक छह मंत्री ही राज्य में सरकार चला रहे हैं।

नई दिल्ली। महाराष्ट्र की विकास अघाड़ी गठबंधन सरकार का कैबिनेट विस्तार मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे की गले का फांस बन गया है। एनसीपी और कांग्रेस राज्य में दो उपमुख्यमंत्री के लिए दावा कर रहे हैं।  वहीं तीन दलों के पांच दर्जन से ज्यादा विधायक मंत्री बनने के लिए लॉबिंग कर रहे हैं। जो मुख्यमंत्री के सामने चुनौती बनती जा रही है। हालांकि माना जा रहा है कि एनसीपी नेता अजित पवार को उद्धव ठाकरे सरकार में उपमुख्यमंत्री के पद का इनाम मिलेगा जबकि कांग्रेस की तऱफ से अशोक चव्हाण या फिर पृथ्वीराज चव्हाण उपमुख्यमंत्री बन सकते हैं।

राज्य में कैबिनेट विस्तार इस हफ्ते के आखिर में होने की संभावना है। हालांकि ये भी कहा जा रहा है कि पौष महीना होने के कारण फिलहाल कैबिनेट विस्तार को अगले महीने की 15 तक टाला भी जा सकता है। लेकिन इसकी संभावना कम है। राज्य में सहयोगी दल शिवसेना पर कैबिनेट विस्तार के लिए लगातार दबाव बना रहे हैं। राज्य में 43 मंत्री ब सकते हैं जबकि अभी तक छह मंत्री ही राज्य में सरकार चला रहे हैं।  कैबिनेट विस्तार में गृहमंत्रालय एनसीपी के पास आने की संभावना है।

गौरतलब है कि राज्य में सरकार के गठन से पहले तीनों दलों के बीच  बने न्यूनतम साझा कार्यक्रम के तहत राज्य में दो उपमुख्यमंत्री नियुक्त करने पर सहमति बनी थी। हालांकि पहले कैबिनेट गठन में किसी को भी उपमुख्यमंत्री के पद पर नियुक्त नहीं किया गया। कांग्रेस के दो पूर्व मुख्यमंत्री अशोक चव्हाण और पृथ्वीराज चव्हाण को अभी तक कैबिनेट में जगह नहीं मिल पायी है और ये दोनों नेता उपमुख्यमंत्री के पद की दावेदारी कर रहे हैं।

जबकि एनसीपी की तरफ से अजित पवार का उपमुख्यमंत्री बनना तय माना जा रहा है। कांग्रेस आलाकमान चाहता है कि पृथ्वीराज चव्हाण की जगह अशोक चव्हाण को कैबिनेट में शामिल किया जाए। हालांकि उपमुख्यमंत्री पद के लिए प्रदेश कांग्रेस के अध्यक्ष बाला साहेब थोराट की दावेदारी भी नकारी नहीं जा सकती है। वहीं पृथ्वीराज चव्हाण को आलाकमान केन्द्रीय राजनीति में लाकर किसी बड़े पद की जिम्मेदारी दी जा सकती है।
 

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