जानें क्या है रामपुर में योगी का ‘कलंक’ कनेक्शन

By Team MyNation  |  First Published Apr 21, 2019, 2:14 PM IST

योगी आज फिर रामपुर में अपने आक्रामक स्टाइल में दिखे। लेकिन उन्होंने अपने भाषण में संयम बरता। कल ही रामपुर में एसपी और बीएसपी की संयुक्त रैली हुई, जिसमें दोनों दलों के नेताओं ने आजम खान के लिए जनता से वोट मांगे। रामपुर में 23 अप्रैल को मतदान होना है। लिहाजा आज बीजेपी ने यहां पर योगी की रैली कर पूरा माहौल बनाने की कोशिश की। 

भारतीय जनता पार्टी के फायरब्रांड नेता और उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ एक बार फिर आज रामपुर में समाजवादी पार्टी के प्रत्याशी आजम खान के खिलाफ जमकर बोले। योगी ने कहा कि जयाप्रदा की जीत रामपुर में लोकतंत्र के लिए जरूरी है। योगी ने कहा कि वह रामपुर में जयाप्रदा की जीत से लोकतंत्र के कलंक को मिटाना है। असल में योगी का परोक्ष तौर पर निशाना एसपी प्रत्याशी आजम खान की तरफ था। 

योगी आज फिर रामपुर में अपने आक्रामक स्टाइल में दिखे। लेकिन उन्होंने अपने भाषण में संयम बरता। कल ही रामपुर में एसपी और बीएसपी की संयुक्त रैली हुई, जिसमें दोनों दलों के नेताओं ने आजम खान के लिए जनता से वोट मांगे। रामपुर में 23 अप्रैल को मतदान होना है। लिहाजा आज बीजेपी ने यहां पर योगी की रैली कर पूरा माहौल बनाने की कोशिश की। गौरतलब है कि चुनाव आयोग योगी आदित्याथ पर 72 घंटे का बैन लगाया था। जिसके बाद वह फिर चुनाव प्रचार में उतरे। 

सीएम योगी आदित्यनाथ काफी संयम बरतते दिखे, लेकिन उनका स्टाइल वही था, जिसके लिए वह जाने जाते हैं। उन्होंने कहा कि रामपुर में लोकतंत्र के लिए जरूरी है कि जयाप्रदा को भारी मतों से चुनाव जीताया जाए। उन्होंने कहा कि रामपुर के लोकतंत्र के लिए कलंक को मिटाना जरूरी है। हालांकि योगी ने आजम खान का नाम नहीं लिया है। लेकिन परोक्ष तौर पर उनका इशारा आजम खान पर ही था। योगी ने कहा कि अब हमें ना मौन रहना है और ना ही अपराधी के साथ खड़ा होना है।  

गौरतलब है कि पिछले दिनों एसपी नेता आजम खान ने बीजेपी प्रत्याशी जयाप्रदा पर आपत्तिजनक टिप्पणी की थी। आजम खान ने कहा था कि जिन्होंने उन्हें 17 साल तक नहीं पहचाना उसे उन्हें 17 दिन में पहचान लिया कि उसकी चंडी खाकी है। इस बयान के बाद महिला आयोग ने उन्हें कारण बताओ नोटिस जारी किया था जबकि चुनाव आयोग ने 72 घंटे के लिए उनके चुनाव प्रचार पर रोक लगा दी थी। गौरतलब है कि 2014 का लोकसभा चुनाव बीजेपी ने जीता था। जबकि इस चुनाव में आजम खान की प्रतिष्ठा जुड़ी थी। लेकिन यहां से एसपी प्रत्याशी को हार का सामना करना पड़ा। जबकि उस वक्त राज्य में एसपी की सरकार थी।

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