S&P की रिपोर्ट: जानिए भारत इकोनॉमिक सुपरपावर बनने से कितनी दूर?

By Rajkumar UpadhyayaFirst Published Oct 18, 2024, 1:39 PM IST
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S&P की रिपोर्ट के अनुसार, भारत 2030 तक दुनिया की तीसरी सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था बन सकता है। जानिए कैसे भारत एक इकोनॉमिक सुपरपावर बनने की ओर बढ़ रहा है और इस लक्ष्य तक पहुंचने की चुनौतियां क्या हैं।

नई दिल्ली। भारत तेजी से इकोनॉमिक पॉवर बनने की तरफ बढ़ रहा है, और 2030 तक दुनिया की तीसरी सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था बन सकता है। यह दावा रेटिंग एजेंसी एसएंडपी ग्लोबल रेटिंग्स द्वारा जारी एक हालिया रिपोर्ट में किया गया है। हालांकि, इस लक्ष्य तक पहुंचने के लिए भारत को कई चुनौतियों का सामना करना पड़ेगा, जिसमें बढ़ती जनसंख्या, बुनियादी सेवाओं की बढ़ती मांग, और हाई प्रोडक्टिविटी बनाए रखने के लिए जरूरी इंवेस्टमेंट शामिल हैं।

2047 तक 30 हजार अरब डॉलर की इकोनॉमी बनना लक्ष्य

वर्तमान में, भारत दुनिया की पांचवीं सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था है, जिसकी कुल इकोनॉमिक कैपेसिटी 3,600 अरब डॉलर के करीब है। भारत का लक्ष्य 2047 तक 30 हजार अरब डॉलर की अर्थव्यवस्था बनना है। यह न केवल भारत को एक आर्थिक महाशक्ति बना देगा, बल्कि इसे दुनिया भर की उभरती अर्थव्यवस्थाओं में टॉप पर ले जाएगा।

भारत कब बनेगा दुनिया की तीसरी सबसे बड़ी इकोनॉमी?

एसएंडपी ग्लोबल रेटिंग्स ने अपनी रिपोर्ट में कहा कि भारत आने वाले तीन सालों में सबसे तेजी से बढ़ने वाली प्रमुख अर्थव्यवस्था बनेगा। 2030 तक, भारत वैश्विक स्तर पर तीसरी सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था के रूप में उभरने की राह पर है। जेपी मॉर्गन के ‘सरकारी उभरते बाजार बॉन्ड सूचकांक’ में 2024 में भारत का प्रवेश इसे अतिरिक्त वित्तपोषण के अवसर प्रदान करेगा, जो घरेलू पूंजी बाजारों में महत्वपूर्ण संसाधनों तक पहुंच सुनिश्चित करेगा।

भारत, चीन, वियतनाम, फिलिपीन ग्लोबल इकोनॉमी को देंगे आकार

एसएंडपी ग्लोबल ने अपनी रिपोर्ट 'उभरते बाजारों पर भविष्य की नजर: एक निर्णायक दशक' में बताया कि उभरते बाजार, जैसे कि भारत, चीन, वियतनाम, और फिलिपीन, अगले दशक में वैश्विक अर्थव्यवस्था को आकार देने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाएंगे। जहां विकसित अर्थव्यवस्थाओं की विकास दर 1.59% के आसपास रहेगी, वहीं उभरते बाजारों की औसत जीडीपी विकास दर 4.06% होने का अनुमान है।

2035 तक स्थापित हो जाएगा भारत

साल 2035 तक, उभरते बाजार वैश्विक आर्थिक विकास में लगभग 65% का योगदान देंगे। इसमें एशिया-प्रशांत क्षेत्र की उभरती अर्थव्यवस्थाओं, विशेषकर भारत और चीन, का प्रमुख योगदान होगा। एसएंडपी की रिपोर्ट में यह भी कहा गया है कि 2035 तक भारत दुनिया की तीसरी सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था बन जाएगा, जबकि इंडोनेशिया और ब्राजील क्रमशः आठवें और नौवें स्थान पर होंगे।

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