पाकिस्तान दुनिया का तीसरा ऐसा देश बन गया है, जहां गधों की आबादी सबसे ज्यादा है। पाकिस्तानी मीडिया रिपोर्टों के मुताबिक गधों के मामले में चीन और इथोपिया अब भी पाकिस्तान से आगे हैं। पाकिस्तान में गधों की संख्या बढ़कर पांच मिलियन यानी 50 लाख के भी पार पहुंच गई है। पंजाब प्रांत का लाहौर ऐसी जगह है जहां पर गधों की आबादी सबसे ज्यादा है। पाकिस्तान इकोनॉमिक सर्वे 2017-2018 में दी गई जानकारी के मुताबिक गधों की संख्या 53 लाख पहुंच गई है। पाकिस्तान के जियो न्यूज की ओर से इस बात की जानकारी दी गई है। इस रिपोर्ट का एक वीडियो भी सोशल मीडिया पर वायरल है। इसमें एक पत्रकार गधे पर बैठकर रिपोर्टिंग कर रहा था और वह गधे से गिर गया।
मशहूर पाकिस्तानी पत्रकार हामिद मीर ने एक ट्वीट में लिखा, 'गधों के व्यापार के मामले में पाकिस्तान फल फूल रहा है। मेरा एक पुराना मित्र अमीन हफीज जान जोखिम में डालकर रिपोर्टिंग कर रहा है।'
अकेले लाहौर में 41 हजार से ज्यादा गधे हैं। इसे देखते हुए प्रशासन ने गधों के लिए बाकायदा अस्पताल खोल दिया है। यहां न सिर्फ बीमार गधों का फ्री में इलाज होता है, बल्कि उन्हें गंभीर बीमारी से बचाया जाता है। पाकिस्तानी मीडिया में आई रिपोर्ट के अनुसार अस्पताल के एक डॉक्टर का कहना है- 'गधों की सेहत के लिए यह अस्पताल बनाया गया है। गधों को सेहतमंद बनाने के लिए उनको दवाईयां पिलाई जा रही हैं।' लाहौर में अस्पताल खुलने से गधे पालने वाले काफी खुश हैं। पाकिस्तान में माल ढुलाई के लिए गधों का इस्तेमाल सबसे ज्यादा होता है। 25-30 हजार में आने वाले गधे दिन में एक हजार रुपये तक कमा लेते हैं। अब अस्पताल खुलने से भी लोग इसका फायदा उठा रहे हैं।
पाकिस्तान ने 2017 में देश में 'गधा विकास कार्यक्रम' में अरबों रुपये का निवेश किया। दरअसल, ये निवेश खैबर-पख्तूनख्वाह में चीन के निवेशकों को आकर्षित करने के लिए किया गया है। पाकिस्तान पंजाब की एक रिपोर्ट के अनुसार गधे के निर्यात से मिलने वाली आय का सकल राष्ट्रीय उत्पाद का अहम हिस्सा है। पाकिस्तान में 2015-16 के दौरान गधों की संख्या 51 लाख थी, वहीं 2016-17 में ये संख्या बढ़ कर 52 लाख और 2017-18 में इनकी संख्या बढ़ कर 53 लाख हो गई।
चीन में गधे के मांस की भी काफी मांग है। भारी मांग और उत्पादन कम होने की वजह से चीन को पाकिस्तान जैसे देशों की ओर रुख करना पड़ रहा है। चीन में गधों की खाल को काफी उपयोगी माना जाता है। गधे की खाल से जिलेटिन बनता है। इसे चीन में इजीयो भी कहते है। पुराने समय से इसका उपयोग ब्लड सर्कुलेशन बेहतर बनाने वाली चीनी दवाई के तौर पर किया जाता है।