Trek Tips:  Mount Everest में चढ़ाई करना मुश्किल कामों में एक माना जाता है। सोशल मीडिया में वायरल वीडियो में एवरेस्ट की चढ़ाई के दौरान कई लोगों की भीड़ एकसाथ दिख रही है। दुनिया की हाइएस्ट पीक में इस तरह की भीड़ दिखना समझ से बाहर है। अगर आपने भी किसी पहाड़ी या ऊंचाई में ट्रकिंग का प्लान किया है तो कुछ बातों का ध्यान रखकर ही आगे बढ़ना चाहिए वरना आपको मुसीबतों का सामना करना पड़ सकता है। 

ट्रेकिंग से पहले रोजाना करें वॉक

ट्रेकिंग का प्लान करने के पहले उस स्थान और वहां के मौसम के बारे में जान लेना चाहिए। अगर आपको ये पता चल जाए कि कितने किमी पैदल चलना पड़ेगा, उसी के हिसाब से आप रोजाना वॉक करना शुरू कर दें। आपको रोजाना 2 से 4 घंटे चलने की प्रैक्टिस होनी चाहिए तभी आप साधारण ट्रेक आसानी से कर पाएंगे। अगर आपने एवरेस्ट बेस कैंप ट्रेकिंग प्रोग्राम बनाया है तो ट्रेकिंग कंपनी की हेल्प से बेहतर गाइडेंस पा सकते हैं। एवरेस्ट बेस कैंप ट्रेक नेपाल के काठमांडू से शुरू होता है। एवरेस्ट बेस कैंप 5364 मीटर की ऊंचाई (काठमांडू से 130 किमी) में है। जो लोग ऊंची चोटी में नहीं जा पाते हैं वो एवरेस्ट बेस कैंप तक प्राकृतिक और खूबसूरत नज़ारे लेने इस पॉइंट तक आते हैं। 

फिजिकल और मेंटल फिटनेस

ऊंचाई में जाने से पहले आपको रोजाना कार्डियो, एंड्योरेंस वर्कआइट, स्ट्रेंथ ट्रेनिंग करनी चाहिए। रोजाना व्यायाम से मेंटल के साथ ही फिजिकल फिटनेस बनी रहती है। ट्रेकिंग में जाने से पहले डॉक्टर से संपर्क कर जरूरी चेकअप करा सकते हैं।  

बैक पैक में रखें जरूरी चीजें

आपको ये बात ध्यान रखनी होगी कि ट्रेकिंग के दौरान कंफर्टेबल कपड़े के साथ ही आरामदायक शूज का चुनाव करें। आपको ट्रेकिंग के दौरान लगभग 5 किलो का पैक साथ लेकर चलना होता है। बैग में खाने-पीने का जरूरी सामान, सनस्क्रीन, कैमरा, गीले मौसम के लिए ज़रूरी सामान  जरूर रखें। ट्रेकिंग के दौरान चोट का भी खतरा रहता है इसलिए फस्ट एड बॉक्स भी जरूरी है। 

 गाइड के साथ करें ट्रेकिंग

अगर आप ट्रेकिंग में नए हैं तो साथ में गाइड रखना बहुत जरूरी है। कुछ लोग ओवरकॉन्फिडेंस में रास्ता भूल जाते हैं ओर उन्हें लंबे समय तक भटकना पड़ता है। इन दिक्कतों से बचने के लिए गाइड के बताए रास्तों में ट्रेक करें। 

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