जहां लोकसभा चुनाव 2014 में प्रधानमंत्री मोदी को सबसे बड़ी ताकत युवाओं से मिली वहीं 2019 के चुनावों में हिंदी भाषी राज्यों में महिला वोटरों का समर्थन मिला है। इसके चलते जहां कृषि क्षेत्र की चुनौतियों के चलते किसान और बेरोजगारी की समस्या के चलते युवा वोटर नाराज रहे वहीं महिला वोटरों ने इस नाराजगी से हुए नुकसान की भरपाई कर दी।