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आजादी के बाद से मुंबई में ऐसे कई अंडरवर्ल्ड बाहुबली पान पर जो मुंबई को अपने इशारों पर नाचना चाहते थे यहां पर खौफ और पैसे के दम पर कई बाहुबलियों ने राज किया।
70 के दशक में मुंबई में अपराधियों का आतंक था करीम लाला हाजी मस्तान और वरदराजन मुदलियार के इलाके बंटे हुए थे। तीनों अपने इलाकों में हुकूमत करते थे ताकि खून खराबा ना हो।
अंडरवर्ल्ड की दुनिया में एक और माफिया की एंट्री होती है जिसका नाम था दाऊद इब्राहिम जो मुंबई को अपने इशारे पर चलना चाहता था दाऊद इब्राहिम के आने के बाद मुंबई की सारी दिशा बदल गई।
हाजी मस्तान को मुंबई का पहला अंडरवर्ल्ड डॉन था। 1926 को तमिलनाडु में जन्मे हाजी ने 1970 तक मुंबई में अंपायर खड़ा कर लिया था जो सफेद सूट पहनने का शौकीन और मर्सिडीज की सवारी करता था।
करीम लाला बड़ा अंडरवर्ल्ड डॉन हुआ जो पेशावर के रास्ते मुंबई पहुंचा था। उसने मुंबई में तस्करी समेत गैर कानूनी धंधों में पेंठ जमा ली एक वक्त ऐसा था कि जब करीम लाला की तूती बोलती थी।
वरदराजन मुदलियार हत्या की सुपारी लेने से लेकर ड्रग्स की तस्करी जैसे मामलों को देखता था उसने हाजी मस्तान और करीम लाला के साथ मिलकर काम किया था। जिससे दाऊद भी टकराने से डरता था।
मुंबई के काले धंधों में दाऊद इब्राहिम का नाम सबसे ऊपर है। जिसने मुंबई को हिला कर रख दिया वह 1990 आते-आते मुंबई का अकेला बाहुबली बचा था लेकिन 1993 के धमाकों से पहले वह दुबई चला गया।
सभी अंडरवर्ल्ड माफिया मुंबई छोड़ चुके थे तब मुंबई में केवल दो खिलाड़ी बच्चे थे अरुण गवली-अमर नायक अमर नायक को पुलिस ने मार गिराया। मुंबई पर अरुण गवली ने राज किया,वह अभी जेल में है।