ओलंपियन लंबी कूद खिलाड़ी अंजू बॉबी जॉर्ज ने एक किडनी के साथ भारत के लिए वर्ल्ड चैंपियनशिप में मेडल जीता। जानें उनके मेंटल हेल्थ पर उनका थॉट और उनके इंस्प्रेशनल सफर के बारे में।
Anju Bobby George: ओलंपियन लंबी कूद खिलाड़ी अंजू बॉबी जॉर्ज भारतीय एथलेटिक्स को वर्ल्ड मैप पर लाने के लिए जानी जाती हैं। उन्होंने 2003 में पेरिस में एथलेटिक्स में वर्ल्ड चैंपियनशिप में लंबी कूद में भारत के लिए पहला मेडल जीता था। उन्होंने IAAF वर्ल्ड एथलेटिक्स फ़ाइनल में गोल्ड मेडल भी जीता था। हाल ही में एक इंटरव्यू में उन्होंने अपनी यात्रा के बारे में खुलकर बात की और खेल हस्तियों के फिजिकल एवं मेंटल हेल्थ के बारे में बात की। आपको जानकार हैरानी होगी की इस वर्ल्ड चैंपियन खिलाड़ी की बॉडी में सिंगल किडनी है। सिंगल किडनी किसे और कैसे होती है, इसके क्या नुकसान हैं। आईए जानते हैं।
अंजू को सिंगल किडनी के बारे में कब चला पता?
indianexpress.com को दिए इंटरव्यू में अंजू बॉबी जार्ज ने कहा कि मेंटल हेल्थ खेल और जीवन दोनों में सफलता की कुंजी है। उन्होंने बताया कि कैसे 2003 में एक टफ कंपटीशन के दौरान उन्हें पता चला कि उनकी एक ही किडनी है। डॉक्टरों ने वर्ल्ड चैंपियनशिप से हटने की सलाह दी, लेकिन उनके पति और कोच रॉबर्ट बॉबी जॉर्ज ने सुझाव दिया कि वे यूरोप की यात्रा करें और चैंपियनशिप देखें। इससे उन्हें मेंटली तैयार होने में मदद मिली और उन्होंने खुद को 20 दिन बाद पोडियम पर पाया।
सिंगल किडनी का ओवरऑल हेल्थ पर क्या होता है असर?
अंजू के पास भारत की महिलाओं की लंबी कूद में नेशनल रिकॉर्ड है और उन्होंने यह सब एक किडनी के साथ किया है। जानें कि सिंगल किडनी का ओवरऑल हेल्थ पर क्या असर होता है और इसे कैसे सुरक्षित रखा जा सकता है।
सिंगल किडनी क्या है?
सिंगल किडनी एक ऐसी स्थिति है, जिसमें व्यक्ति के पास केवल एक ही किडनी होती है। यह जन्म से हो सकता है या किसी बीमारी या दान के कारण हो सकता है। किडनी विटल आर्गेंस है, जो बॉडी से वेस्ट और टॉक्सिन को फिल्टर करने में मदद करती है। एक किडनी के साथ भी लोग एक फुल लाइफ जी सकते हैं, लेकिन अपनी एकमात्र किडनी की सुरक्षा करना आवश्यक है।
सिंगल किडनी का हेल्थ पर प्रभाव
1. किडनी के फंक्शन में कमी
सिंगल किडनी के कारण उस पर वर्कलोड बढ़ सकता है, जिससे टाइम के साथ कार्यक्षमता कम हो सकती है।
2. हाई ब्लड प्रेशर
किडनी का डिक्रीज्ड बढ़ने से ब्लड प्रेशर हाई हो सकता है।
3. प्रोटीनुरिया
एक किडनी यूरिन में प्रोटीन लीक कर सकती है, जो किडनी के स्ट्रेस का संकेत है।
4. फ्लूड रिटेंशन
किडनी की खराबी से एक्सेस फ्लूड को निकालने में कठिनाई हो सकती है, जिससे सूजन और वेट बढ़ सकता है।
5. किडनी की बीमारी का ज्यादा रिस्क
सिंगल किडनी में चोट या डैमेज का रिस्क अधिक हो सकता है, जो क्रोनिक किडनी डिजीज को बढ़ा सकता है।
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