पीएम टीम में हो सकता है बदलाव, पीके मिश्रा पीएस तो सिन्हा या खुल्बे हो सकते हैं एपीएस

By Team MyNationFirst Published Aug 31, 2019, 9:24 AM IST
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असल में पीएम मोदी के प्रिंसिपल सचिव नृपेंद्र मिश्रा सितंबर के दूसरे सप्ताह में कार्यमुक्त हो जाएंगे। लिहाजा इस  पद पर किसी अफसर को नियुक्त किया जाएगा। हालांकि चर्चा है कि अभी तक एडिशनल प्रिंसिपल सेक्रेटरी का काम देख रहे पीएम मिश्रा को प्रमोट कर प्रिंसिपल सेक्रेटरी नियुक्त किया जा सकता है। लेकिन चर्चा ये भी चल रही है कि स्वास्थ्य कारणों से पीके मिश्रा भी रिटायरमेंट चाहते हैं।

नई दिल्ली। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी का नया प्रधान सचिव कौन होगा। फिलहाल इसका नाम सार्वजनिक नहीं हुआ है। लेकिन इस पद के लिए अभी पीएमओ में तैनात एडिशनल प्रधान सचिव पीके मिश्रा का नाम लिया जा रहा है। हालांकि चर्चा ये भी है कि पीके मिश्रा स्वास्थ्य कारणों से रिटायर होना चाहते हैं।

इस पद के लिए किसी नए व्यक्ति को जिम्मेदारी दी जा सकती है। कल ही पीएमओ में पूर्व कैबिनेट सेक्रेटरी पीके सिन्हा को ओएसडी के दौर पर नियुक्त किया है। लिहाजा उम्मीद क जा रही है कि पीएमओ में प्रिंसिपल सेक्रटरी और एडिशनल प्रिंसिपल सेक्रेटरी के पद पर नए अफसरों को नियुक्त किया जा सकता है। इसके लिए सिन्हा और भास्कर खुल्बे को भी दौड़ में माना जा रहा है।

असल में पीएम मोदी के प्रिंसिपल सचिव नृपेंद्र मिश्रा सितंबर के दूसरे सप्ताह में कार्यमुक्त हो जाएंगे। लिहाजा इस  पद पर किसी अफसर को नियुक्त किया जाएगा। हालांकि चर्चा है कि अभी तक एडिशनल प्रिंसिपल सेक्रेटरी का काम देख रहे पीएम मिश्रा को प्रमोट कर प्रिंसिपल सेक्रेटरी नियुक्त किया जा सकता है।

लेकिन चर्चा ये भी चल रही है कि स्वास्थ्य कारणों से पीके मिश्रा भी रिटायरमेंट चाहते हैं। लिहाजा अगर ऐसा होता है तो पीएमओ में नए अफसरों को इन दो पदों पर नियुक्त किया जाएगा। ये भी चर्चा है कि प्रधानमंत्री के सचिव भास्कर खुल्बे को एडिशनल प्रिंसिपल सेक्रटरी नियुक्त किया जा सकता है जबकि पीके सिन्हा को प्रिंसिपल सेक्रेटरी नियुक्त किया जाएगा।

भास्कर खुल्बे प्रधानमंत्री के सचिव के पद पर हैं और मार्च में वह रिटायर हो चुके हैं लेकिन उन्हें छह महीने का एक्सटेंशन दिया गया जबकि पीके सिन्हा एक महीने पहले ही रिटायर हुए हैं और अब उन्हें पीएमओ में ओएसडी नियुक्त करने के पीछे कई तरह की चर्चाएं चल रही हैं। सिन्हा भी यूपी कैडर के 1977 बैच के आईएएस अफसर हैं जबकि खुल्बे पश्चिम बंगाल कैडर के अफसर हैं और पीएम मोदी के विश्वासपात्र अफसरों में माने जाते हैं।

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