कौन है US President Election में ताल ठोकने वाले Vivek Ramaswamy ?

By Anshika Tiwari  |  First Published Aug 20, 2023, 1:11 PM IST

अमेरिका के मौजूदा राष्ट्रपति बाइडेन दोबारा सत्ता में आने का सपना देख रहे हैं तो दूसरी ओर पूर्व राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप राष्ट्रपति बनने के इच्छुक हैं हालांकि इसी बीच एक और नाम चर्चा है जिसे अमेरिकन बाइडेन और ट्रंप से ज्यादा पसंद कर रहे हैं।

नेशनल डेस्क। अमेरिका में अगले साल राष्ट्रपति के चुनाव ( US Presidential Election) होने है। इसे देकर दोनों प्रमुख पार्टियां डेमोकेट्रिक और रिपब्लिकन पार्टी ने तैयारियां शुरू कर दी है। एक तरफ डेमोक्रेटिक पार्टी की और से मौजूदा राष्ट्रपति बाइडेन दोबारा सत्ता में आने का सपना देख रहे हैं तो दूसरी और पूर्व राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप राष्ट्रपति बनने के इच्छुक हैं हालांकि इसी बीच एक ओर नाम चर्चा है जिसे अमेरिकन बाइडेन और ट्रंप से ज्यादा पसंद कर रहे हैं। बात हो रही अमेरिका के एक हिंदू करोड़पति बिजनेस मैन की। जिसने 2024 के इलेक्शन में अमेरिका की राष्ट्रपति पद के चुनाव में अपनी उम्मीदवारी के संकेत दिए है। 

ट्रंप को मात देंगे विवेक रामास्वामी ?

दरअसल, हम बात कर रहे हैं, भारतीय मूल के अमेरिकी नागरिक और बायो टेक एंटरप्रेन्योर विवेक रामास्वामी (Vivek Ramaswamy) की। जिन्होंने रिपब्लिकन पार्टी की ओर से राष्टपति पद के उम्मीदवार होने की इच्छा जताई है। मीडिया रिपोर्ट्स की मानें तो विवेक रामास्वामी रिपब्लिकन पार्टी की ओर से राष्ट्रपति पद की रेस में दूसरे स्थान पर बने हुए हैं। खासियत ये है वह हक से कहते हैं कि वह हिंदू हैं। वहीं रामस्वामी का कहना है कि अगर वे राष्ट्रपति बनते है तो अमेरिका को नई बुलंदियों तक पहुंचाएंगे। उनका सपना केवल अमेरिका को पैसे की तौर पर मजबूत बनाना नहीं बल्कि निरंतर आगे बढ़ाने और बेहतरीन बनाने का है। 

कौन है विवेक रामास्वामी ?

हार्वर्ड और येल यूनिवर्सिटी से स्नातक करने वाले रामास्वामी का जन्म भारतीय माता-पिता के घर में हुआ था। उनके माता-पिता का ताल्लुक केरल हैं। वह एक टेक बिजनेस मैन हैं और उन्होंने हेल्थकेयर और टेक्नोलॉजी कंपनियों की स्थापना की है। 2022 में अमेरिकी इकॉनमी में रोजमर्रा के नागरिकों की आवाज को बहाल करने पर उन्होंने एक नई फर्मा Strive asset management की शुरुआत की। 

विवेक रामास्वामी का राजनीतिक दृष्टिकोण

रिपब्लिकन नेता रामस्वामी कई बार अपने इंटरव्यू में ये संकेत दे चुके हैं कि वह अपने चुनावी अभियान में नस्लवाद और कट्टरता के खिलाफ जोर देंगे। गौरतलब है, अमेरिका में लोकतंत्र होने के बावजूद वहां पर नस्लवाद अपने चरम पर है। यदि आपका रंग सावला है तो आपको परेशानियों का सामना करना पड़ सकता है। इसलिए रामस्वामी अमेरिका को नस्लवाद मुक्त बनाना चाहते हैं। 

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