पीएम मोदी की अंतरराष्ट्रीय स्तर पर बढ़ती लोकप्रियता और विश्व गुरु के रुप में भारत के बढ़ते कदम पाकिस्तानियों को बेचैन कर रहे हैं। भारत से ईर्ष्या की वजह से पाकिस्तान खुद को ऊंचा उठाने की बजाए और नीचा गिराए जा रहा है। अमेरिका के ह्यूस्टन में पीएम मोदी और राष्ट्रपति ट्रंप के कार्यक्रम का विरोध करने के लिए पाकिस्तानियों वहां की मस्जिदों में इकट्ठा हो रहे हैं। अमेरिकी भारतीयों ने राजनीतिक इस्तेमाल के लिए मस्जिदों के इस्तेमाल पर गहरी आपत्ति जताई है।
ह्यूस्टन: भारत और प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के विरोध के लिए पाकिस्तान हर तरह की साजिश रचने से बाज नहीं आ रहा है। पाकिस्तानी अपनी घटिया साजिश के लिए मजहब का इस्तेमाल करने से भी नहीं चूक रहे हैं।
अमेरिका के ह्यूस्टन में पीएम मोदी के 'हाउडी मोदी' कार्यक्रम का विरोध करने के लिए वहां मौजूद पाकिस्तानियों ने मस्जिदों का इस्तेमाल करने की तैयारी की है। जिस समय 'हाउडी मोदी' कार्यक्रम होगा, उस समय पाकिस्तानी कार्यक्रम स्थल पर इकट्ठा होकर विरोध प्रदर्शन करने की योजना बना रहे हैं। खास बात यह है कि पाकिस्तानियों ने प्रदर्शनकारियों को इकट्ठा करने के लिए मस्जिदों के इस्तेमाल का फैसला किया है।
यानी पाकिस्तानी स्थानीय मस्जिदों में इकट्ठा होंगे। जहां से उन्हें बसों या सार्वजनिक ट्रांसपोर्ट के जरिए प्रदर्शन स्थल तक ले जाया जाएगा। इसके लिए ह्यूस्टन की सैकड़ों मस्जिदों और इस्लामिक सेन्टरों में लोगों को इकट्ठा किया जा रहा है।
अमेरिकी भारतीयों ने पाकिस्तान की इस मजहबी साजिश पर कड़ा ऐतराज जताया है। उनका कहना है कि पाकिस्तानी लोग राजनीतिक उद्देश्यों के लिए मजहबी केन्द्रों का इस्तेमाल कर रहे हैं। अमेरिकी भारतीयों ने पाकिस्तानियों की इस योजना के खिलाफ ह्यूस्टन पुलिस, एफबीआई, यूएस सीक्रट सर्विस और इमिग्रेशन अथॉरिटीज को टैग करके शिकायत दर्ज कराई है।
यह मामला तब जाकर खुला जब एक अमेरिकी भारतीय ने सोशल मीडिया पर 13 ऐसे पिक अप स्थलों की जानकारी दी। जहां भारत विरोधी ताकतें इकट्ठा होने के लिए पोस्टरबाजी कर रही थीं।
भारतीय मूल के नागरिकों ने स्थानीय प्रशासन से सावधानी बरतने का आग्रह किया है। क्योंकि पाकिस्तानी इसके पहले लंदन और प्रिटोरिया में प्रदर्शन के नाम पर हिंसक गतिविधियां फैलाते हुए पकड़े गए हैं।
'हाउडी मोदी' कार्यक्रम में 50 हजार से ज्यादा भारतीय इकट्ठा होंगे। इसमें अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप भी भारतीय प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के साथ मंच साझा करने वाले हैं।