ट्रेवल डेस्क। आपने अक्सर विदेश की वीडियो में लोगों को ग्लास स्काईवॉक (Glass Skywalk) पर चलते हुए देखा होगा। इंस्टा और एफबी रील्स में  दुबई, मलेशिया, न्यूयॉर्क ,लंदन में लोगों को स्काईवॉक पर चलते देख मन रोमांचित हो जाता है लेकिन फॉरेन जाकर ग्लास स्काईवॉक का मजा लेना सबके बस की बात नहीं है क्योंकि ऐसे किसी भी शौक के लिए बजट की जरूरत है। अब जिन लोगों को ग्लास स्काईवॉक पर चलने की ख्वाहिश है उनके लिए गुड न्यूज़ यह है  कि हमारे देश में भी ग्लास स्काईवॉक बन चुका है। चलिए जानते हैं हमारे देश में ग्लास स्काईवॉक कहां है।

क्या होता है ग्लास स्काईवॉक

ग्लास स्काईवॉक कांच की छत होती है या कांच का पुल होता है, जिस पर चलते समय आपको कांच से नीचे का दृश्य साफ नजर आता है। ये तजुर्बा अपने आप में बड़ा ही गूस बम्प्स देने वाला होता है। शीशे पर चलते हुए धरती को देखना कितना रोमांच देता होगा। नीचे नदी हो पहाड़ हो गाड़ियां हो सब कुछ आप कांच से देख सकते हैं।

भारत में ग्लास स्काईवॉक कहां है

भारत में पहला गिलास स्काईवॉक सिक्किम (Glass Skywalk In Sikkim)  में बना है सिक्किम की राजधानी गंगटोक के पास पेलिंग में ग्लास स्काईवॉक (Pelling Glass Skywalk) सैलानियों में काफी फेमस हो रहा है। पेलिंग माउंट कंचनजंगा मैं बसा एक शानदार हिल स्टेशन है।  यह शहर समुद्र से 7200 फीट की ऊंचाई पर मौजूद है। यहां ग्लास स्काईवॉक पर चलते हुए आप हिमालय देख सकते हैं। नीचे की नदियां पहाड़ और हरियाली देख सकते हैं।इस ग्लास ब्रिज से सनसेट भी बहुत सुंदर नज़र आता है।  इसके चारों ओर गोल्डन प्रेयर व्हील्स है और ग्लास ब्रिज की लम्बाई लगभग 2. 5 किलोमीटर है। 

बजट फ्रेंडली है ग्लास स्काईवॉक

अच्छी बात यह है की ग्लास स्काईवॉक काफी बजट फ्रेंडली है । टूरिस्ट के लिए इसका किराया सिर्फ ₹50 है जबकि स्थानीय लोगों के लिए सिर्फ ₹20  है। सुबह 8:00 बजे से 5:00 बजे तक खुला रहता है जहां ग्लास स्काईवॉक का मजा ले सकते हैं। सिक्किम में वैसे तो बहुत से सुंदर टूरिस्ट स्पॉट है लेकिन आप ग्लास स्काईवॉक सिक्किम में टूरिज्म को बढ़ावा देने का काम कर रहा है और सैलानियों को अपनी तरफ आकर्षित कर रहा है।

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