पंजाब के अमृतसर में दशहरे में रावण दहन देखने के दौरान डीएमयू ट्रेन की चपेट में आकर 60 से ज्यादा लोगों की मौत हो गई। 70 से ज्यादा लोग गंभीर रूप से घायल हुए हैं। इस बीच कांग्रेस नेता और पंजाब सरकार में मंत्री नवजोत सिंह सिद्धू घायलों से मिलने अमृतसर के सिविल अस्पताल पहुंचे। सिद्धू ने आरोप लगाया कि हादसा ट्रेन की तेज रफ्तार के चलते हुआ। ट्रेन ने हॉर्न नहीं दिया इसलिए लोग समझ नहीं पाए।

अस्पताल में सिद्धू ने घायलों और उनके परिजनों से मुलाकात की। इसके बाद सिद्धू ने कहा, 'यह बहुत ही दुखद और दुर्भाग्यपूर्ण हादसा है। जिनकी मृत्यु हुई, उनकी भरपाई किसी तरह से नहीं की जा सकती।' सिद्धू ने कहा, 'ट्रेन ने हॉर्न नहीं दिया। ट्रेन तेज रफ्तार से आई और चंद सेकेंड में सबकुछ हो गया। पंजाब के मुख्यमंत्री ने घटना की जांच के आदेश दे दिए हैं।' सिद्धू ने इसे हादसा बताकर इसपर राजनीति न करने की बात की। उन्होंने कहा, 'भगवान के सामने सब बेबस हैं। मेरी अपील है कि इस मामले पर राजनीति नहीं करनी चाहिए। यह एक हादसा है। लोगों के गुस्से को समझा जा सकता है। लेकिन किसी ने कुछ भी जानबूझकर नहीं किया है।' 

सिद्धू ने उन आरोपों का भी खंडन किया कि उनकी पत्नी हादसे के वक्त मेले में मौजूद थीं लेकिन इसके बाद वहां से चली गईं। सिद्धू ने कहा, 'ये आरोप गलत हैं, मेरी पत्नी मरीजों के साथ थी, रात में उनसे बात हुई थी। हादसे का पता चलने पर वह फौरन अस्पताल पहुंची।'