चंडीगढ़। हरियाणा में अगले महीने होने वाले विधानसभा चुनाव के लिए भाजपा नेता अपने बच्चों के लिए टिकट की मांग कर रहे हैं। भाजपा नेता अब अपने बच्चों का राजनैतिक करियर बनाना चाहते हैं। हालांकि हाईकमान पहले ही कह चुका है कि किसी भी नेता के बच्चों को टिकट नहीं दिया जाएगा।

हरियाणा में भी भाजपा नेता अपने बच्चों के टिकट के लिए बड़े नेताओं की परिक्रमा काट रहे हैं। जबकि भाजपा अध्यक्ष पहले ही साफ कर चुके हैं चुनाव समिति टिकट पर फैसला करेगी। उन्होंने साफ तौर पर कहा कि नेता अपने बच्चों के लिए टिकट न मांगे। जिसमें काबिलियत होगी, उसे पार्टी टिकट देगी। लेकिन अपनी ढलती राजनीति के बाद नेताओं का अपने बच्चों की चिंता सता रही है।

ये नेता अपने बच्चों का राजनीति में करियर बनाना चाहते हैं। लिहाजा टिकट मांग रहे हैं। केंद्रीय मंत्री राव इंद्रजीत और किशनपाल गुर्जर ने पार्टी से बच्चों के लिए टिकट मांगे हैं। लेकिन पार्टी ने साफ तौर पर कर दिया है कि पार्टी किसी भी मंत्री सांसद के बच्चों को टिकट नहीं देगी।

फिलहाल हरियाणा विधानसभा चुनाव के लिए टिकट पर फैसला चुनाव समिति पहले नवरात्र को करेगी। हालांकि हरियाणा में भी परिवारवाद कम नहीं है और इस रोग की चपेट में भाजपा नेता भी आ गए हैं। फिलहाल भाजपा अध्यक्ष और गृहमंत्री अमित शाह ने बुधवार को हरियाणा के नेताओं के साथ चुनाव और टिकट को लेकर बैठक की।

इस बैठक में ये फैसला हुआ कि वर्तमान विधायक और सांसदों के रिश्तेदारों को टिकट नहीं दिया जाएगा। किशन पाल गुर्जर के बेटे फरीदाबाद में डिप्टी मेयर हैं, जबकि राव इंद्रजीत की पुत्री सक्रिय राजनीति में हैं। ये दोनों नेता अपने बच्चों के लिए टिकट की मांग कर रहे हैं। इसके लिए ये नेता चौधरी बिरेन्द्र सिंह का उदाहरण दे रहे हैं। जिनके परिवार के सभी लोग सांसद या विधायक हैं।