देश इस साल महात्मा गांधी की 150वीं जयंती मना रहा है। देश भर में गांधी जयंती पर कार्यकर्मों का आयोजन हो रहा है। राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद, प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी ने राजघाट जाकर बापू को श्रद्धांजलि अर्पित की। 

15 दिन पहले शुरू किया गया का 'स्वच्छता ही सेवा' कैंपेन आज खत्म हो रहा है। महात्मा गांधी को श्रद्धांजलि देने राष्ट्रपति और प्रधानमंत्री समेत तमाम गणमान्य लोग उनकी समाधि स्थल राजघाट पहुंचे। कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी और यूपीए चेयरपर्सन सोनिया गांधी ने भी महात्मा गांधी को श्रद्धांजलि अर्पित की। 

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महात्मा की उपाधि से विभूषित मोहनदास करमचंद का जन्म गुजरात के पोरबंदर में एक हिंदू-गुजराती मोध बनिया वैश्य परिवार में 2 अक्टूर 1869 को हुआ हैं। उनके माता पिता ने उनका नाम मोहनदास करमचंद गांधी रखा था। गांधी जी ने दुनिया को सत्य और अहिंसा का जो संदेश दिया वो मिसाल हैं।

गांधीजी के जन्म के 5 साल बाद उनका परिवार पोरबंदर से राजकोट आ गया। उन्होंने अपनी शुरुआती पढ़ाई-लिखाई राजकोट से ही की। गांधीजी के पिता करमचंद गांधी राजकोट के दीवान थे। आपकी माता का नाम पुतलीबाई था। वह धार्मिक विचारों वाली महिला थीं।

देश की स्वतंत्रता में महात्मा गांधी की भूमिका सदैव याद रहने वाली है। गांधीजी ने सत्‍य और अहिंसा का मार्ग चुना और आंदोलन किए। गांधीजी ने वकालत की शिक्षा इंग्‍लैंड में ली थी।