नई दिल्ली। भारतीय जनता पार्टी के चाणक्य कहे जाने वाले राष्ट्रीय अध्यक्ष पिछले एक हफ्ते से महाराष्ट्र में चल रहे सियासी घटनाक्रम को लेकर शांत थे। दो दिन पहले ही आरपीआई के नेता रामदास अठावले ने कहा था कि अमित शाह ने महाराष्ट्र को लेकर शांत रहने और सब ठीकठाक रहने की बात कही। लेकिन महाराष्ट्र में शिवसेना की सरकार बनने के महज कुछ ही घंटे पहले ही सियासी ड्रामे ने यू टर्न ले लिया है। अब राज्य में भाजपा की सरकार बन गई है और उसके पास जादुई आंकडा भी है जिसका दावा भाजपा कर रही है।

महाराष्ट्र में भाजपा ने एनसीपी के बागी गुट अजित पवार के साथ सरकार का गठन कर लिया है। राज्य में भाजपा के देवेन्द्र फडणवीस ने सीएम और अजित पवार ने डिप्टी सीएम की शपथ ली। अब महाराष्ट्र के सीएम देवेन्द्र फडणनीस का दावा है कि राज्य में उनके पास 170 विधायकों का समर्थन है। असल में भाजपा का दावा है कि उसके पास पहले से ही 123 विधायकों का समर्थन है। जिसमें 105 विधायक उसके और बाकी अन्य विधायक निर्दलीय और अन्य छोटे दलों के हैं।

वहीं अभी तक हालांकि स्थिति साफ नहीं हुई है कि अजित पवार के साथ जाने वाले विधायकों की संख्या कितनी है। माना जा रहा है कि एनसीपी के 54 विधायकों में 35 विधायक अजित पवार के साथ है। लिहाजा अगर इस आकंड़े को देखते हैं तो 158 विधायकों का समर्थन फडणवीस सरकार के पास है। जबकि वह 170 विधायकों के समर्थन का दावा कर रहे हैं। ऐसे मे 13 विधायक कौन हैं। इस पर राज नहीं खोला गया है। जबकि राज्य में 145 विधायकों की जरूरत है।

जिससे सरकार का गठन हो सकता है। लिहाजा भाजपा सरकार का दावा है कि उसके पास पूर्ण बहुमत है। फिलहाल कांग्रेस, एनसीपी और शिवसेना सकते हैं। लिहाजा अब इन दलों की बैठक जल्द ही होने वाली है। माना जा रहा कि आज दोपहर तक एनसीपी प्रमुख शरद पवार और शिवसेना प्रमुख उद्धव ठाकरे संयुक्त प्रेस कांफ्रेंस कर सकते हैं।