मुंबई। महाराष्ट्र के राज्यपाल भगत सिंह कोश्यारी ने राजभवन के खर्चों में कटौती करने का फैसला किया है। राज्यपाल ने यात्रा पर किसी भी खर्च से बचने के लिए वीडियो कॉन्फ्रेंस के माध्यम से कुलपति और विभिन्न अधिकारियों के साथ बैठकें और बातचीत करने का आदेश दिया। कोरोना लॉकडाउन के कारण राज्य  सरकार आर्थिक मंदी के दौर से गुजर रही है।

महाराष्ट्र के राज्यपाल भगत सिंह कोश्यारी ने गुरुवार को राजभवन के खर्च को कम करने के लिए सरकारी खर्चों में कटौती का ऐलान किया। राज्यपाल ने राजभवन के लिए कार की खरीद पर भी रोक लगा दी साथ ही राज्यपाल के आधिकारिक निवास पर वीआईपी आगंतुकों का स्वागत करते हुए गुलदस्ते देने पर भी रोक लगा दी है। फिलहाल माना जा रहा है कि राज्यपाल के ऐलान के बाद चालू वित्त वर्ष के दौरान राजभवन के बजट में इन उपायों से 10 फीसदी से 15 फीसदी तक बचत होगी।

खर्चों में कटौती को रोकने के लिए राज्यपाल ने राजभवन में कोई भी नया पूंजी कार्य नहीं करने और किसी भी नए बड़े निर्माण मरम्मत कार्य को नहीं करने का निर्देश दिया है। इस दौरान केवल प्रगति पर चल रहे कामों को जारी रखा जाएगा और पूरा किया जाएगा। वहीं कोश्यारी ने 15 अगस्त, 2020 को पुणे के राजभवन में आयोजित होने वाले स्वतंत्रता दिवस के स्वागत समारोह को भी रद्द करने का आदेश दिया है। वहीं राजभवन में अगले आदेश तक कोई नई नियमित भर्ती नहीं होगी।

जानकारी के मुताबिक राज्यपाल के आदेश के बाद वीवीआईपी को उपहार / स्मृति चिन्ह देने की प्रथा पर भी रोक लग गई है। वहीं राजभवन में गेस्ट हाउस के कमरों को फूलदान और फूलों के गमलों को नहीं सजाया जाएगा। राज्यपाल कोशियारी ने पहले ही अपने एक महीने के वेतन पीएम केयर में दान कर चुके हैं और वहीं 30 प्रतिशत वेतन की कटौती सरकार द्वारा की जा रही है। फिलहाल राज्यपाल के इस फैसले के बाद राज्य में उनकी तारीफ हो रहीहै।