प्रवासी भारतीय दिवस पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी ने शुरु करवाया था। लेकिन वर्तमान पीएम मोदी ने इस आयोजन का दायरा बहुत बढ़ा दिया है। वाराणसी में हुए इस कार्यक्रम में 800 जाने माने प्रवासी भारतीय इकट्ठा हुए। कुंभ मेले के समय प्रयागराज से मात्र कुछ घंटों की दूरी पर हुए इस कार्यक्रम में का मकसद प्रवासी भारतीयों को देश की प्राचीन सनातन परंपरा से परिचित कराना भी था।
वाराणसी में 15वें प्रवासी भारतीय समारोह में पीएम मोदी ने स्थानीय सांसद की हैसियत से मेजबान की भूमिका संभाली और दुनिया भर से आए भारतीय मूल के लोगों का स्वागत किया।
प्रधानमंत्री ने कहा, 'आज का दिन मेरे लिए भी विशेष है। मैं यहां आपके सामने प्रधानमंत्री के साथ-साथ काशी का सांसद होने के नाते, एक मेज़बान के रूप में भी उपस्थित हुआ हूं। बाबा विश्वनाथ और मां गंगा का आशीर्वाद आप सभी पर बना रहे, मेरी यही कामना है’।
अपने संबोधन की शुरुआत में उन्होंने सिद्धगंगा के दिवंगत संत श्री श्री शिवकुमार स्वामी जी को श्रद्धांजलि दी।
पीएम ने पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी को याद करते हुए कहा कि ‘दुनियाभर में बसे आप सभी भारतीयों से संवाद का ये अभियान हम सभी के प्रिय श्रद्धेय अटल बिहारी वाजपेयी जी ने शुरु किया था। अटल जी के जाने के बाद ये पहला प्रवासी भारतीय सम्मेलन है। इस अवसर पर मैं अटल जी को भी श्रद्धा सुमन अर्पित करता हूं, उनकी इस विराट सोच के लिए नमन करता हूं’।
15th #PravasiBharatiyaDivas inaugurated today in #Varanasi.
— PIB India (@PIB_India) January 21, 2019
"The success of each Pravasi brings laurels to India": @MEAIndia @SushmaSwaraj
"Pravasis are the biggest ambassadors of India" : Union Minister @Ra_THORe
Day 1 was dedicated to #youth pravasis. Have a look ⬇️ pic.twitter.com/4NwuYdmAgX
प्रधानमंत्री मोदी ने पूर्व पीएम राजीव गांधी के एक प्रसिद्ध कथन के सहारे यूपीए सरकार पर निशाना साधा और कहा कि ‘आप में से अनेक लोगों ने हमारे देश के एक पूर्व प्रधानमंत्री की भ्रष्टाचार को लेकर कही एक बात जरूर सुनी होगी।
उन्होंने कहा था कि केंद्र सरकार दिल्ली से जो पैसा भेजती है, उसका सिर्फ 15 प्रतिशत ही लोगों तक पहुंच पाता है। इतने वर्ष तक देश पर जिस पार्टी ने शासन किया, उसने देश को जो व्यवस्था दी थी, उस सच्चाई को उन्होंने स्वीकारा था लेकिन अफसोस ये रहा कि बाद के अपने 10-15 साल के शासन में भी इस लूट को, इस लीकेज को बंद करने का प्रयास नहीं किया गया। देश का मध्यम वर्ग ईमानदारी से टैक्स देता रहा, और जो पार्टी इतने सालों तक सत्ता में रही, वो इस 85 प्रतिशत की लूट को देखकर भी अनदेखा करती रही।
पीएम ने जानकारी दी कि हमने टेक्नोल़ॉजी का इस्तेमाल करके इस 85 प्रतिशत की लूट को 100 प्रतिशत खत्म कर दिया है। बीते साढ़े चार वर्षों में 5 लाख 78 हजार करोड़ रुपए यानि करीब-करीब 80 बिलियन डॉलर हमारी सरकार ने अलग-अलग योजनाओं के तहत सीधे लोगों को दिए हैं, उनके बैंक खाते में ट्रांसफर किए हैं।
प्रधानमंत्री मोदी ने वहां आए 800 प्रवासी भारतीयों को संबोधित करते हुए कहा कि ‘मैं आपको भारत का ब्रैंड एंबेसेडर मानने के साथ ही भारत के सामर्थ्य और भारत की क्षमताओं, देश की विशेषताओं का प्रतीक भी मानता हूं। इसलिए ही आप अभी जिस देश में रह रहे हैं, वहां के समाज को भी आपने अपनापन दिया है, वहां की संस्कृति और अर्थव्यवस्था को समृद्ध किया है। आपने 'वसुधैव कुटुंबकम' के भारतीय दर्शन का, हमारे पारिवारिक मूल्यों का विस्तार किया है।
We all know that one 'world famous' chaat wala who makes drool worthy delicacies; you can never take the love for street food out of an Indian; dont take it from us, hear it from these Pravasi Bharatiyas relishing some street food in #Varanasi#PBD2019 pic.twitter.com/hHjbp9jaUP
— PIB India (@PIB_India) January 22, 2019
आप सभी जिस देश में बसे हैं, वहां समाज के लगभग हर क्षेत्र में लीडरशिप के रोल में दिखते हैं। मॉरिशस को श्री प्रविंद जुगनाथ जी पूरे समर्पण के साथ आगे बढ़ा रहे हैं। इसके अलावा पुर्तगाल, त्रिनिदाद-टोबैगो और आयरलैंड जैसे अनेक देशों को भी ऐसे सक्षम लोगों का नेतृत्व मिला है जिनकी जड़ें भारत में हैं।
आप सभी के सहयोग से बीते साढ़े 4 वर्षों में भारत ने दुनिया में अपना स्वभाविक स्थान पाने की दिशा में एक बड़ा कदम बढ़ाया है। पहले लोग कहते थे कि भारत बदल नहीं सकता। हमने इस सोच को ही बदल दिया है। हमने बदलाव करके दिखाया है।
दुनिया आज हमारी बात को, हमारे सुझावों को पूरी गंभीरता के साथ सुन भी रही है और समझ भी रही है। पर्यावरण की सुरक्षा और विश्व की प्रगति में भारत के योगदान को दुनिया स्वीकार कर रही है। आज भारत अनेक मामलों में दुनिया की अगुवाई करने की स्थिति में है। इंटरनेश्नल सोलर अलायंस यानि आइसा ऐसा ही एक मंच है। इसके माध्यम से हम दुनिया को One World, One Sun, One Grid की तरफ ले जाना चाहते हैं।
ये हमारे उस लक्ष्य का भी हिस्सा है जिसके तहत हम भारत की समस्याओं के ऐसे समाधान तैयार कर रहे हैं, जिनसे दूसरे देशों की मुश्किलें भी हल हो सकें। Local Solution, Global Application की अप्रोच के साथ हम काम कर रहे हैं।
आज भारत दुनिया की तेज़ी से बढ़ती इकोनॉमिक ताकत हैं तो स्पोर्ट्स में भी हम बड़ी शक्ति बनने की तरफ निकल पड़े हैं। आज इंफ्रास्ट्रक्चर के बड़े और आधुनिक संसाधन बन रहे हैं तो स्पेस के क्षेत्र में भी रिकॉर्ड बना रहे हैं। हम दुनिया का सबसे बड़ा Start up Ecosystem बनने की तरफ बढ़ रहे हैं तो दुनिया की सबसे बड़ी हेल्थकेयर स्कीम आयुष्मान भारत भी चला रहे हैं।
आज हमारा युवा मेक इन इंडिया के तहत रिकॉर्ड स्तर पर मोबाइल फोन, कार, बस, ट्रक, ट्रेन बना रहा है, तो वहीं खेत में रिकॉर्ड अन्न उत्पादन भी हो रहा है।
किसी को घर के लिए, किसी को पढ़ाई के लिए, किसी को स्कॉलरशिप के लिए, किसी को गैस सिलेंडर के लिए, किसी को अनाज के लिए, ये राशि दी गई है। अब आप अंदाजा लगाइए, अगर देश पुराने तौर तरीकों से ही चल रहा होता, तो आज भी इस 5 लाख 78 हजार करोड़ रुपए में से 4 लाख 91 हजार करोड़ रुपए लीक हो रहा होते। अगर हम व्यवस्था में बदलाव नहीं लाए होते ये राशि उसी तरह लूट ली जाती, जैसे पहले लूटी जाती थी।
ये कार्य पहले भी हो सकता था, लेकिन नीयत नहीं थी, इच्छाशक्ति नहीं थी। हमारी सरकार अब उस रास्ते पर चल रही है कि सरकार द्वारा दी जाने वाली हर मदद डायरेक्ट बेनिफिट स्कीम के तहत सीधे लाभार्थी के बैंक खाते में ट्रांसफर की जाए। मैं आपको एक और आंकड़ा देता हूं। पिछले साढ़े चार साल में हमारी सरकार ने करीब-करीब 7 करोड़ ऐसे फर्जी लोगों को पहचानकर, उन्हें व्यवस्था से हटाया है। ये 7 करोड़ लोग वो थे, जो कभी जन्मे ही नहीं थे, जो वास्तव में थे ही नहीं।
लेकिन ये 7 करोड़ लोग सरकारी सुविधाओं का लाभ ले रहे थे. आप सोचिए, पूरे ब्रिटेन में, फ्रांस में, पूरे इटली में जितने लोग हैं, ऐसे अनेक देशों की जनसंख्या से ज्यादा तो हमारे यहां वो लोग थे, जो सिर्फ कागजों में जी रहे थे और कागजों में ही सरकारी सुविधाओं का लाभ ले रहे थे।
भारत के गौरवशाली अतीत को फिर स्थापित करने के लिए 130 करोड़ भारतवासियों के संकल्प का ये परिणाम है और मैं आज बहुत गर्व से कहना चाहता हूं कि इस संकल्प में आप भी शामिल हैं। सरकार का पूरा प्रयास है कि आप सभी जहां भी रहें सुखी रहें और सुरक्षित रहें। बीते साढ़े 4 वर्षों के दौरान संकट में फंसे दो लाख से ज्यादा भारतीयों को सरकार के प्रयासों से मदद मिली है।
आपकी सोशल सिक्योरिटी के साथ-साथ पासपोर्ट, वीज़ा, PIO और OCI कार्ड को लेकर भी तमाम प्रक्रियाओं को आसान करने का प्रयास सरकार कर रही है। प्रवासी भारतीयों के लिए कुछ महीने पहले ही एक नया कदम भी उठाया गया है।
दुनियाभर में हमारे दूतावासों और उच्चायोगों को पासपोर्ट सेवा प्रोजेक्ट से जोड़ा जा रहा है। इससे आप सभी के लिए पासपोर्ट सेवा से जुड़ा एक केंद्रीय सिस्टम तैयार हो जाएगा। बल्कि अब तो एक कदम आगे बढ़ते हुए चिप बेस्ड e-Passport जारी करने की दिशा में भी काम चल रहा है।
पासपोर्ट के साथ-साथ वीज़ा से जुड़े नियमों को भी सरल किया जा रहा है। ई-वीजा की सुविधा मिलने से आपके समय की बचत भी हो रही है और परेशानियां भी कम हुई हैं। अभी भी अगर कोई समस्याएं इसमें हैं तो उसके सुधार के लिए भी कदम उठाए जा रहे हैं।
आप में अनेक इस बात से भी परिचित होंगे कि हमारी सरकार ने पीआईओ कॉर्ड को ओसीआई कॉर्ड में बदलने की प्रक्रिया को भी आसान बनाया है। बदलते हुए इस भारत में आप रिसर्च एंड डेवलपमेंट और इनोवेशन में बड़ी भूमिका निभा सकते हैं। सरकार ये भी कोशिश कर रही है कि भारत के स्टार्ट अप्स और एनआरआई मेंटर्स एक साथ, एक प्लेटफॉर्म पर लाए।
मैं इस मंच पर पहले भी कह चुका हूं, आज फिर दोहराना चाहता हूं कि आप जिस भी देश में रहते हैं, वहां से अपने आसपास के कम से कम 5 परिवारों को भारत आने के लिए प्रेरित करिए. आपका ये प्रयास, देश में टूरिज्म बढ़ाने में अहम भूमिका निभाएगा।
आप काशी में हैं, इसलिए मैं काशी और आप सभी में एक समानता देख रहा हूं। बनारस नगरी चिरकाल से भारत की सांस्कृतिक, आध्यात्मिक और ज्ञान की परंपरा से दुनिया में देश का परिचय कराती रही है। आप अपने दिलों में भारत और भारतीयता को संजोए हुए, इस धरती की ऊर्जा से दुनिया को परिचित करा रहे हैं'।
Last Updated Jan 22, 2019, 6:40 PM IST