देश की पहली हाई स्पीड ट्रेन-18 का ट्रायल सकुशल संपन्न हो गया। 180 कि.मी प्रतिघंटे तक की रफ्तार से चलने वाली यह ट्रेन पूरी तरह वातानुकूलित है। ट्रेन-18 रात 12.55 बजे नई दिल्ली से रवाना हुई और सुबह 7.48 बजे प्रयागराज पहुंच गई। यह दूरी तय करने में इसे लगभग सात घंटे लगे। जबकि पहले की ट्रेनें दिल्ली से प्रयागराज पहुंचने में 11 से 12 घंटे का समय लगाती थीं।
इंजनरहित पूरी तरह वातानुकूलित ट्रेन-18 जब प्रयागराज पहुंची तो लोग उसका फोटो खींचने लगे। इस ट्रेन को 18 महीने कोशिश करके तैयार किया गया है। सरकार प्रयागराज में लगने वाले कुंभ मेले के दौरान इसे नई दिल्ली से वहां तक चलाने की तैयारी कर रही है।
उम्मीद की जा रही है कि नए साल में दिल्ली-वाराणसी के बीच ट्रेन का संचालन शुरू हो जाएगा। 16 कोच वाली इस ट्रेन में दो एक्जीक्यूटिव श्रेणी के कोच हैं।
सीसीटीवी कैमरे और पेंट्रीकार से लैस ट्रेन 80 सेकेंड के भीतर 130 की रफ्तार पकड़ने में सक्षम है। यह ट्रेन कई लग्जरी सुविधाओं से लैस है।
स्पीड ट्रायल की रिपोर्ट देखने के बाद रेलवे बोर्ड की अनुमति पर ट्रेन-18 नई दिल्ली से वाराणसी के बीच चलाई जाएगी।
ट्रेन-18 देश की सबसे तेज ट्रेन है। इस बात की जानकारी खुद रेल मंत्री पीयूष गोयल एक ट्वीट कर दे चुके हैं। इस ट्रेन की अधिकतम रफतार 180 किलोमीटर प्रति घंटा है।
Last Updated Dec 29, 2018, 5:47 PM IST