नई दिल्ली-- नौ हजार करोड़ लोन फ्रॉड के मामले में भगोड़े शराब कारोबारी विजय माल्या का भी प्रत्यर्पण हो सकता है।  सूत्रों के मुताबिक सीबीआई के संयुक्त निदेशक एस साईं मनोहर के नेतृत्व में अधिकारियों की एक टीम भगोड़े शराब कारोबारी विजय माल्या के प्रत्यर्पण मामले में अहम सुनवाई में शामिल होने के लिए रविवार को लंदन रवाना हो गई है। 

भारतीय जांच एजेंसियां माल्या को प्रत्यर्पित करा स्वदेश वापस लाने की कोशिश कर रही हैं। मामले की सुनवाई सोमवार को लंदन में वेस्टमिंस्टर मजिस्ट्रेट की अदालत करेगी। आपको बता दें कि मनोहर विशेष निदेशक राकेश अस्थाना की जगह सुनवाई में शामिल होंगे। इससे पहले अस्थाना सुनवाई में शामिल होते रहे हैं। उधर लंदन के वेस्टमिनिस्टर मजिस्ट्रेट कोर्ट लंदन में माल्या के मामले की सुनवाई करीब एक घंटा चलेगी। इस बीच विजय माल्या ने कोर्ट में कहा कि वह कोर्ट का सम्मान करते हैं और वह सेटलमेंट के लिए तैयार हैं। उन्होंने कहा कि कोर्ट में ऑफर दिया जा रह है। माल्या ने कहा कि उन्होंने कर्ज वापसी के लिए कर्नाटक हाई कोर्ट में भी आज सुनवाई है।

सरकार ने सीबीआई निदेशक आलोक वर्मा से विवाद होने के बाद अस्थाना को सभी अधिकारों से वंचित कर दिया तथा उन्हें जबरन छुट्टी पर भेज दिया था। मनोहर इससे पहले अस्थाना के नेतृत्व वाली एसआईटी का हिस्सा थे। सूत्रों ने यह भी बताया कि प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) के दो अधिकारी भी सीबीआई अधिकारी के साथ हैं।

माल्या पर धन शोधन और ऋण की रकम दूसरे मद में खर्च करने के अलावा 9,000 करोड़ रुपये के ऋण की अदायगी नहीं करने के मामले का सामना कर रहा है। माल्या अपने खिलाफ सीबीआई के लुकआउट नोटिस को कमजोर किए जाने का फायदा उठाते हुए मार्च 2016 में ब्रिटेन भाग गया था। 

गौरतलब है कि हाल ही में माल्या ने इस मुद्दे पर ट्वीट कर कहा था, ‘‘मैंने एक रुपया भी उधार नहीं लिया। ऋण किंगफिशर एयरलाइन ने लिया था। कारोबार के वास्तव में और दुखद रूप से नाकाम होने पर यह धन डूबा। गारंटर होना धोखाधड़ी नहीं है।’’