आज करीब 24 साल बाद मैनपुरी में सियासी मंच पर मायावती और मुलायम सिंह यादव एक साथ दिखे। हालांकि 1993 में मुलायम सिंह ने बीएसपी के समर्थन से ही राज्य में सरकार बनाई थी। उसके बाद 1995 में लखनऊ में गेस्ट हाउस कांड हुआ था और इसके लिए मायावती मुलायम सिंह को दोषी मानती हैं। लेकिन आज पहली बार मायावती लोकसभा चुनाव में मुलायम सिंह के लिए प्रचार किया।
आज उत्तर प्रदेश की मैनपुरी में समाजवादी पार्टी और बहुजन समाज पार्टी की संयुक्त रैली हो रही है। इस रैली पर आज सबकी नजर लगी हुई थी। क्योंकि इस रैली में पहली बार बीएसपी प्रमुख मायावती एसपी संरक्षक मुलायम सिंह के लिए चुनाव प्रचार कर रही है। मैनपुरी में हो रही है इस रैली में आरएलडी प्रमुख अजित सिंह को भी शामिल होना था। लेकिन वह रैली में नहीं आए। आखिर गठबंधन के सहयोगी होने के बावजूद अजित सिंह ने इस रैली से दूसरी क्यों बनाई। ये सवाल सबके जेहन में घूम रहा है। इससे पीछे सबसे बड़ा कारण देवबंद की रैली की बताया जा रहा है जिसमें अजित सिंह को मंच में आने से पहले अपने जूते उतारने पड़े थे।
आज करीब 24 साल बाद मैनपुरी में सियासी मंच पर मायावती और मुलायम सिंह यादव एक साथ दिखे। हालांकि 1993 में मुलायम सिंह ने बीएसपी के समर्थन से ही राज्य में सरकार बनाई थी। उसके बाद 1995 में लखनऊ में गेस्ट हाउस कांड हुआ था और इसके लिए मायावती मुलायम सिंह को दोषी मानती हैं। लेकिन आज पहली बार मायावती लोकसभा चुनाव में मुलायम सिंह के लिए प्रचार किया।
यूपी में एसपी, बीएसपी और आरएलडी मिलकर चुनाव लड़ रही हैं। जिसके तहत सीट शेयरिंग हुई है, जिसमें बीएसपी को 38 और एसपी को 37 सीटें मिली हैं। जबकि तीन सीटों पर आरएलडी चुनान लड़ रही है। वहीं गठबंधन ने दो सीटों अमेठी और रायबरेली में अपने प्रत्याशी नहीं उतारे हैं।
आज रैली शुरू होने से पहले मंच पर लगी तीन कुर्सियां संस्पेंस बनाए हुए थी। जबकि इस रैली में चार बड़े नेताओं को हिस्सा लेना था। इसमें मुलायम सिंह यादव, मायावती, अखिलेश यादव और अजित सिंह प्रमुख थे।
लेकिन तीन कुर्सियों को लेकर वहां पर तमाम तरह की अफवाहें सुबह से ही शुरू हो गयी थी। लेकिन दोपहर में में ये अफवाह सच साबित हुई, क्योंकि अजित सिंह ने इस रैली से दूरी बना कर रखी। असल में देवबंद में हुई रैली के बारे में एक मीडिया हाउस में खबर चली थी कि इस रैली में शामिल होने के लिए मंच पर मौजूद अजित सिंह को अपने जूते उतारने पड़े थे। लिहाजा आज अजित सिंह ने इस रैली से दूरी बनाकर रखी। आज मंच पर मुलायम सिंह के साथ ही मायावती और अखिलेश यादव मौजूद थे। मायावती की अहमियत इसी बात से समझी जा सकती है कि उन्हें अखिलेश यादव ने बीच में बैठाया।
Last Updated Apr 19, 2019, 1:26 PM IST