गोपनीय केबल जारी करने वाले संगठन विकीलीक्स के संस्थापक जूलियन अंसाजे को लंदन स्थित इक्वाडोर दूतावास से गिरफ्तार कर लिया गया है। 7 साल से असांजे ने इक्वाडोर के दूतावास में शरण ले रखी थी। अंसाजे पर यौन उत्पीड़न का आरोप लगा था, इसके बाद स्वीडन प्रत्यर्पण से बचने के लिए असांजे ने इस दूतावास को अपना ठिकाना बना रखा था। हालांकि असांजे पर स्वीडन में लगे आरोप हट चुके हैं।  

लंदन की मेट्रोपॉलिटन पुलिस के मुताबिक, असांजे को हिरासत में लिया गया है और उन्हें वेस्टमिन्सटर मजिस्ट्रेट कोर्ट के सामने पेश किया जाएगा। असांजे ने 2010 में बड़ी संख्या में अमेरिकी गोपनीय दस्तावेजों को सार्वजनिक किया था। इसके बाद से ही उन पर गिरफ्तारी की तलवार लटक रही थी। खास बात यह है कि साल 2012 में असांजे को इक्वाडोर की नागरिकता मिल चुकी है।  

फोटो स्रोतः Daily DOOH/Twitter

इस बीच, इक्वाडोर के राष्ट्रपति लेनिन मोरेनो ने कहा कि असांजे की शरण को वापस लेने का फैसला 'अंतरराष्ट्रीय संधियों के बार-बार उल्लंघन और रोजमर्रा के प्रोटोकॉल' को तोड़ने के बाद किया गया है। साथ ही असांजे का व्यवहार भी कुछ समय से 'आक्रामक और हतोत्साहित' करने वाला रहा है।

उधर, विकीलीक्स ने इक्वाडोर पर उसके सह संस्थापक जूलियन असांजे को दी गई शरण को ‘अवैध रूप’ से वापस लेने का आरोप लगाया। विकीलीक्स ने कहा कि लंदन में इक्वाडोर के राजदूत ने उन्हें गिरफ्तार करने के लिए ब्रिटिश पुलिस को आमंत्रित किया था। विकिलीक्स ने ट्विटर पर कहा, ‘इक्वाडोर ने अंतरराष्ट्रीय कानून का उल्लंघन करते हुए असांजे को दी गई राजनीतिक शरण को अवैध रूप से खत्म कर दिया।’ उन्होंने कहा, ‘ब्रिटिश पुलिस को दूतावास में बुलाया गया और उन्हें तत्काल गिरफ्तार कर लिया गया।’

अमेरिका के न्याय विभाग ने 47 साल के असांजे के खिलाफ आपराधिक दस्तावेजों के प्रकाशन से संबंधित आपराधिक आरोप दायर किया है। वहीं बचाव पक्ष ने दलील दी थी कि ये खुफिया दस्तावेज गलती से नवंबर में सार्वजनिक हो गए थे।

असांजे पर साल 2016 के अमेरिकी राष्ट्रपति चुनाव में हिलेरी क्लिंटन और डेमोक्रेटिक पार्टी के कंप्यूटरों से चोरी की गई सामग्री को जारी कर रूसी हस्तक्षेप का समर्थन करने का भी आरोप है।