CGHS New Rules: केंद्र सरकार के CGHS कार्डधारकों के लिए बड़ी खबर है। सरकार ने CGHS कार्ड होल्डर्स के लिए अस्पताल की इमरजेंसी सर्विस को पहले से आसान कर दिया है। ताकि बिना किसी परेशानी के तुरंत इलाज शुरू हो सके। स्वास्थ्य मंत्रालय ने सेंट्रल गवर्नमेंट हेल्थ स्कीम (CGHS) के कार्डधारकों के लिए नई गाइडलाइन्स जारी की हैं. इन गाइडलाइन्स का मकसद स्वास्थ्य सेवाओं को और भी आसान बनाना है. ताकि लोगों को सरकारी और लिस्टेड प्राइवेट अस्पतालों में परामर्श, जांच और इलाज की बेहतर सेवा मिल सके। 24 सितंबर 2024 को जारी ऑफिस मेमोरेंडम (OM) में स्वास्थ्य मंत्रालय ने रेफरल से जुड़े पुराने नियमों में बदलाव किया है और नए नियमों को लेकर स्टैंडर्ड ऑपरेटिंग प्रोसेस (SOP) जारी की है।

इमरजेंसी मामलों के लिए नए CGHS रूल
अगर कोई इमरजेंसी स्थिति होती है, तो अब हेल्थकेयर ऑर्गनाइजेशन (एचसीओ) को सीजीएचएस से रेफरल या एंडोर्समेंट लेने की जरूरत नहीं होगी। वे सीधे कैशलेस इलाज कर सकते हैं। बशर्ते मरीज को इलाज करने वाले अस्पताल के विशेषज्ञ से इमरजेंसी सर्टिफिकेट मिले। इस सर्टिफिकेट के साथ अस्पताल इलाज के दावे को बीसीए पोर्टल पर अपलोड करेगा।

CGHS की लिस्ट में इलाज या टेस्ट न होने पर क्या होगा?
अगर कोई टेस्ट या इलाज इमरजेंसी इलाज के लिए CGHS की लिस्ट में नहीं है, तो भी रेफरल की जरूरत नहीं होगी। अस्पताल NHA पोर्टल के जरिए इसके लिए अनुमति ले सकता है और स्थानीय CGHS ऑफिस से कोई अनुमति लेने की जरूरत नहीं होगी।

रेफरल रूल में किए गए बदलाव
अब सीजीएचएस के जरिए मिलने वाले कंसल्टेशन मेमो तीन महीने तक वैध रहेंगे। यदि कोई सीजीएचएस चिकित्सा अधिकारी आपको किसी विशेषज्ञ के पास रेफर करता है, तो आप तीन महीने के भीतर अधिकतम छह बार उस विशेषज्ञ से परामर्श ले सकते हैं। यदि प्राथमिक परामर्शदाता सलाह देता है, तो आप दो अतिरिक्त विशेषज्ञों से भी सलाह ले सकते हैं। ये नियम केवल सीजीएचएस चिकित्सा अधिकारियों द्वारा दिए गए रेफरल पर लागू होते हैं। ये नियम सरकारी अस्पतालों से रेफरल पर लागू नहीं होंगे।

70 वर्ष से अधिक आयु के लाभार्थियों को छूट
70 वर्ष या उससे अधिक आयु के लाभार्थियों को अब किसी विशेषज्ञ से परामर्श लेने के लिए रेफरल की आवश्यकता नहीं होगी। इन लाभार्थियों को सूचीबद्ध अस्पतालों में किसी भी पंजीकृत जांच या प्रक्रिया के लिए सीधे इलाज की अनुमति होगी। हालांकि, यदि कोई जांच या प्रक्रिया सीजीएचएस सूची में नहीं है, तो सीजीएचएस अधिकारियों से अनुमति लेनी होगी।

विशेष मामलों के लिए स्पेशल केस
कुछ विशेष बीमारियों से पीड़ित लाभार्थियों को प्राथमिक रेफरल के आधार पर बिना किसी समय सीमा के अनुवर्ती परामर्श और जांच की अनुमति दी जाएगी। इन बीमारियों में शामिल हैं:-

  • 1. पोस्ट कार्डियक सर्जरी केस
  • 2. पोस्ट ऑर्गन ट्रांसप्लांट केस
  • 3. न्यूरोसर्जरी के बाद के केस
  • 4. लास्ट स्टेज रेनल डिजीज
  • 5. कैंसर ट्रीटमेंट
  • 6. ऑटोइम्यून डिसऑर्डर
  • 7. न्यूरोलाजिजकल डिसऑर्डर

इन बीमारियों से पीड़ित लोगों को उपचार या जांच के लिए बार-बार रेफरल लेने की आवश्यकता नहीं होगी।
 


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