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यूपी के अलीगढ़ में एक हैरान कर देने वाली घटना सामने आई है। 14 साल के मोहित चौधरी और 8 साल की दीक्षा की हार्ट अटैक से मौत हो गई।
इस घटना से लोग दंग रह गए हैं। आखिर क्यों बच्चे भी अब दिल की बीमारियों का शिकार हो रहे हैं? आइए जानते हैं इसके पीछे के कारण।
आजकल के बच्चे पहले के मुकाबले कम फिजिकल एक्टिविटी करते हैं। पहले बच्चे क्रिकेट, फुटबॉल, वॉलीबॉल आदि खेलते थे। लेकिन आजकल बच्चों का समय ज्यादातर मोबाइल पर बीतता है।
यह असक्रियता (Sedentary Lifestyle) मोटापा, हाई ब्लड प्रेशर और दिल से जुड़ी समस्याओं को जन्म देती है, जो हार्ट अटैक का कारण बन सकती है।
बच्चों की डाइट में जंक फूड, तला-भुना खाना और शुगर-रिच ड्रिंक्स का अधिक सेवन किया जाता है। यह बॉडी में कोलेस्ट्रॉल और फैट को बढ़ाता है, जिससे धमनियों में रुकावट हो सकती है।
आजकल के बच्चों पर पढ़ाई का भारी दबाव होता है। परीक्षा, प्रतिस्पर्धा और सोशल मीडिया का प्रभाव उनके मानसिक स्वास्थ्य पर असर डालते हैं।
मानसिक तनाव और चिंता कार्डियोवेस्कुलर डिजीज के जोखिम को बढ़ाते हैं, जो दिल की बीमारियों और हार्ट अटैक का कारण बन सकते हैं।
कुछ बच्चों में जन्म से ही दिल की बीमारियां हो सकती हैं, या फिर ये फैमिली हिस्ट्री से जुड़ी हो सकती हैं। इसके अलावा कोविड-19 के बाद बच्चों में दिल से जुड़ी समस्याएं भी बढ़ी हैं।