क्या सचमुच जंग के मुहाने पर हैं भारत और पाक? पाकिस्तानी नेताओं के इन 7 बयानों से मिल रहे हैं संकेत

By Anshuman AnandFirst Published Aug 9, 2019, 4:36 PM IST
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जम्मू कश्मीर के मुद्दे पर भारत और पाकिस्तान के बीच तनाव बढ़ता जा रहा है। एक झटके में 70 साल पुराना जम्मू कश्मीर का मुद्दा हाथ से निकल जाने की वजह से पाकिस्तान बौखला गया है। इसलिए पाकिस्तानी नेताओं के युद्धोन्मादी बयान रह रहकर सामने आ रहे हैं। दरअसल पाकिस्तान पहले से ही बदहाली की कगार पर बढ़ रहा था, जिसके बाद उसे भारत की तरफ से कश्मीर का झटका लग गया। अब अपनी रही सही इज्जत बचाने और घरेलू मोर्चे से जनता का ध्यान हटाने के लिए पाकिस्तान जंग की शुरुआत कर सकता है। भारतीय संसद द्वारा कश्मीर पर फैसला लिए जाने के बाद से पाकिस्तानी नेता लगातार जंग की धमकी दे रहे हैं-
 

नई दिल्ली: बदहाल पाकिस्तान खुद तो खस्ताहाल हो ही चुका है, भारत को भी अपने साथ बर्बादी के रास्ते पर घसीटने की फिराक में है। उसे कश्मीर पर भारतीय संसद के फैसले के बाद इसका एक बहाना मिल गया है। पाकिस्तानी नेताओं के बयान से इसके लगातार संकेत मिल रहे हैं। 

पाकिस्तानी रेल मंत्री ने दी है अंतिम युद्ध की धमकी
पाकिस्तान ने भारत के साथ समझौता रेल सेवा बंद कर दी है। इस बात की घोषणा करते हुए पाकिस्तानी रेल मंत्री शेख राशिद अहमद ने एक खतरनाक धमकी दे डाली। उनका कहना था कि  ‘आगामी तीन-चार महीने बहुत महत्वपूर्ण हैं। युद्ध हो सकता है, लेकिन हम युद्ध नहीं चाहते हैं। अगर हम पर युद्ध थोपा गया तो यह अंतिम युद्ध होगा'।
पाकिस्तानी रेल मंत्री की यह धमकी नाकाबिले बर्दाश्त है। क्योंकि वह भारत को अपने साथ उस मसले पर जंग में घसीटना चाहते हैं, जिससे उनका सीधे तौर पर कोई मतलब नहीं है।
भारत ने बार बार यह स्पष्ट किया है कि जम्मू कश्मीर भारत का आंतरिक मसला है। लेकिन पाकिस्तान भारत के घरेलू मामले में दखल देते हुए युद्ध की धमकी दे रहा है। 

प्रधानमंत्री इमरान खान भी जंग की तैयारियों में जुटे
पाकिस्तान के प्रधानमंत्री इमरान खान से थोड़ी समझदारी की उम्मीद की जा सकती थी। लेकिन वह भी जंगी जुनून की भाषा बोलते नजर आ रहे हैं। उन्होंने 7 अगस्त को पाकिस्तान की राष्ट्रीय सुरक्षा समिति(नेशनल सिक्योरिटी काउंसिल) की बैठक की थी। जिसके बाद इमरान ने बयान दिया कि वह भारत के इस कदम का मुकाबला करने के लिए सभी संभावित विकल्पों का इस्तेमाल करने के लिए तैयार हैं। 
खास बात यह है कि इस बैठक में पाकिस्तान की तीनों सेनाओं के प्रमुख शामिल थे। जिनके साथ बैठक करने के बाद इमरान खान ने 'सभी संभावित विकल्पों' के इस्तेमाल की धमकी दी है। पाकिस्तान के इन विकल्पों में परमाणु हथियार भी शामिल हैं। वहां के नेता कई बार भारत को परमाणु हमले की धमकी पहले भी दे चुके हैं। 

पाकिस्तानी संसद के संयुक्त सत्र में भी इमरान दे चुके हैं धमकी
इसके पहले मंगलवार यानी 6 अगस्त को भी पाकिस्तान के प्रधानमंत्री ने जंग की धमकी दी थी। उन्होंने अपने यहां संसद का संयुक्त सत्र बुलाया था। जिसमें उन्होंने भारत के खिलाफ गलत शब्दों का प्रयोग करते हुए भारत को युद्ध के साथ साथ आतंकवादी हमलों की भी धमकी दी। 
इमरान ने कहा कि अनुच्छेद-370 से छेड़छाड़ करके भारत ने पुलवामा जैसे और हमलों को न्योता दिया है। दोनों देशों के बीच कश्मीर पर हुए युद्ध का पूरी दुनिया के लिए गंभीर परिणाम होंगे।

भारत के खिलाफ कार्रवाई के लिए इमरान ने गठित की है कमिटी
पाकिस्तानी प्रधानमंत्री ने भारत के खिलाफ कार्रवाई करने के लिए सात सदस्यों वाली एक कमिटी का भी गठन किया है। जिसमें पाकिस्तान के विदेश मंत्री शाह महमूद कुरैशी, अटॉर्नी जनरल मंसूर खान, विदेश सचिव सोहेल महमूद और प्रधानमंत्री के विशेष सलाहकार अहमद बिलाल सूफी, पाकिस्तान की बदनाम खुफिया एजेन्सी आईएसआई के डायरेक्टर जनरल, मिलिट्री ऑपरेशन्स के डायरेक्टर जनरल और इंटर सर्विसेज़ पब्लिक रिलेशन्स के मुखिया शामिल हैं। इसके गठन का उद्देश्य भारत के खिलाफ कूटनीतिक और वास्तविक हमलों की रुप रेखा तैयार करना है। कमेटी के गठन से यह स्पष्ट हो जाता है कि भारत के खिलाफ जंग की शुरुआत करने के लिए पाकिस्तान कितनी जबरदस्त तैयारियों में जुटा हुआ है।

क्या मुझे भारत के खिलाफ हमले का आदेश दे देना चाहिए- इमरान
इसके पहले इमरान खान एक बार और भारत के खिलाफ हमले का भड़काऊ बयान दे चुके हैं। उन्होंने अपने यहां के विपक्षी नेताओं को संबोधित करते हुए कहा था कि 'विपक्ष के नेता क्या चाहते हैं? क्या मुझे पाकिस्तानी सेना को भारत पर हमले का आदेश दे देना चाहिए'? इस बयान से साफ है कि पाकिस्तान और वहां के प्रधानमंत्री इमरान खान की बुद्धि भ्रष्ट हो गई है और वह जंग के लिए उतावले हो रहे हैं। 
इमरान खान ने पाकिस्तानी संसद में दिए गए एक बयान में कहा था कि 'मैं अनुमान लगा सकता हूं कि ऐसा होगा, वे हमारे ऊपर फिर से आरोप लगाने की कोशिश करेंगे। वे हम पर फिर से हमला कर सकते हैं और हम इसका फिर से जवाब देंगे। तब क्या होगा? वे हम पर हमला करेंगे और हम जवाब देंगे और दोनों तरफ से युद्ध हो सकता है। लेकिन अगर हम अपने खून का अंतिम कतरे तक कोई युद्ध लड़ते हैं तो उस युद्ध में जीतेगा कौन? कोई भी नहीं जीतेगा. इसका पूरी दुनिया के लिए दुखद परिणाम होगा'। 

इमरान के करीबी मंत्री ने भी दी है भारत को धमकी
सिर्फ पीएम इमरान खान ही नहीं बल्कि उनके विज्ञान और प्राद्यौगिकी मंत्री फवाद चौधरी भी भारत को लगातार गीदड़भभकी दे रहे हैं। वह भारत को खून और आंसू की धमकी दे रहे हैं।

Modi Govt is trying to make Kashmir another Palestine by changing the population demography and bringing settlers into Kashmir, Parliamentarians must stop fighting on trivial issues lets respond India by blood, tears, toil and sweat, we must be ready to fight if war is imposed

— Ch Fawad Hussain (@fawadchaudhry)

 
फवाद चौधरी ने अपनी संसद में बयान दिया कि 'पाकिस्तान को जंग से नहीं डरना चाहिए, क्योंकि सम्मान सबसे ज्यादा जरूरी होता है। जंग सम्मान के लिए लड़ी जाती है, जीतने या हारने के लिए नहीं। तो हमें जंग से नहीं डरना चाहिए। फवाद ने कहा कि अंतरराष्ट्रीय समुदाय को इस मामले में अपनी भूमिका निभानी चाहिए और अगर जंग होती है तो सब को उसकी क्रूरता झेलनी पड़ेगाी'।

पाकिस्तानी सेना भी तैयारियों में जुटी हुई है
एक तरफ पाकिस्तान में राजनीति गरमाई हुई है। वहीं दूसरी तरफ पाकिस्तानी फौज भी अपनी तैयारियों में लगी हुई है। वहां के सेना प्रमुख कमर बाजवा ने अपनी सेना के सभी कमांडरों के साथ बैठक की है। जिसमें उन्होंने भारत को धमकी देते हुए कहा कि कश्मीरियों की मदद के लिए उनकी सेना किसी भी हद तक जाने के लिए तैयार है।

किसी भी सेना के लिए उसकी आखिरी हद जंग ही हो सकती है। 

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भारत से जंग पाकिस्तान को पड़ सकती है भारी
पाकिस्तान अगर किसी तरह की गुस्ताखी करते हुए भारत के साथ जंग में उलझता है तो उसे इसकी बड़ी कीमत चुकानी होगी। क्योंकि सैन्य नजरिए से भारत दुनिया की चौथी बड़ी महाशक्ति है। सैन्य खर्च, उपकरणों और तकनीक के मामले में भारतीय फौज पाकिस्तान से बहुत आगे है। 

पिछले साल भारत ने अपनी सेना पर 66.51 करोड़ डॉलर का निवेश किया, जबकि पाकिस्तान ने मात्र 11.37 करोड़। जो कि भारत द्वारा किए गए खर्च का मात्र छठा हिस्सा है। 

भारत के पास 2082 लड़ाकू विमान हैं, जबकि पाकिस्तान के पास 1342 विमान हैं। 

 30 लाख से ज्यादा सेना और अर्द्धसैनिक बल के जवान हैं। संख्या के लिहाज से भारत के पास दुनिया की सबसे बड़ी सेना है। जबकि पाकिस्तान के पास 9.36 लाख जवान हैं। यानी भारत के मात्र एक तिहाई

भारत के पास कुल 4184 टैंक हैं, जबकि पाकिस्तान के पास 2200 टैंक हैं। यानी भारतीय सेना के लगभग आधे। 

भारत के पास कुल 295 नौसैनिक जहाज हैं। जबकि पाकिस्तान के पास 197 जहाज हैं। 

भारत के पास 16 पनडुब्बियां हैं, जिसमें परमाणु पनडुब्बियां भी हैं। जबकि पाकिस्तान के पास मात्र 5 सबमरीन हैं। 

लेकिन परमाणु हथियारों के मामले में पाकिस्तान भारत से आगे हैं। उसके पास 140 परमाणु हथियार हैं। जबकि भारत के पास 110 परमाणु हथियार हैं। लेकिन भारत के पास संवर्द्धित यूरेनियम और उच्च श्रेणी की तकनीक है। जिसकी मदद से भारत कभी भी उन्नत किस्म के बम तैयार कर सकता है। 

भले ही पाकिस्तान लगातार भारत को जंग की धमकी दे रहा है। लेकिन किसी भी सूरत में ऐसे हालत दुनिया के लिए उचित नहीं हैं। क्योंकि दोनों देशों को इसका खमियाजा लंबे समय तक भुगतना होगा। लेकिन बर्बादी की कगार पर पहुंच चुका पाकिस्तान इस बात को समझ नहीं रहा है। 

खास बात यह है कि भारत की तरफ से कभी भी पाकिस्तान को युद्ध की धमकी नहीं दी गई है। लेकिन पाकिस्तान शायद हमारे संयम को हमारी कमजोरी समझने की भूल कर रहा है। 

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