नई दिल्ली: किसी तरह के युद्ध की स्थिति में भारतीय सेना के हथियार और सैनिकों को ले जाने की क्षमता में जबरदस्त इजाफा हुआ है। अमेरिकी अंतरिक्ष कंपनी बोइंग ने भारतीय वायुसेना को 11वां सी-17 ग्लोबमास्टर III परिवहन विमान सौंप दिया है। 

ग्लोबमास्टर विमान एक विशाल हवाई जहाज है, जिसमें बड़ी संख्या में जवानों और सैन्य उपकरणों को आवश्यक के अनुसार मनचाही जगह पर पहुंचाया जा सकता है। यह विमान किसी भी मौसम में लंबी दूरी तक बड़े लड़ाकू उपकरणों, सैनिकों को ले जाने में सक्षम है। 

किसी प्राकृतिक आपदा की परिस्थिति में बोइंग ग्लोबमास्टर के जरिए राहत सामग्री और  मानवीय सहायता भी भेजी जा सकती है। 

भारत के पास पहले से 10 ग्लोबमास्टर विमान थे। अब भारत के पास 11वां ग्लोबमास्टर भी आ गया है। 

भारतीय वायुसेना को ग्लोबमास्टर विमान सौंपते हुए बोइंग कंपनी द्वारा जारी किए गए एक बयान में कहा गया है कि ‘बोइंग ने भारत को 11वां सी-17 ग्लोबमास्टर III  सौंपा, जो भारत की वर्तमान और भविष्य की रणनीतिक एयरलिफ्ट आवश्यकताओं को पूरा करने की क्षमता को बढ़ाएगी।’

सी-17 का बेड़ा भारतीय वायुसेना की सामरिक और लड़ाकू विमान चालन क्षमता का एक अहम हिस्सा रहा है। इसे सबसे पहले साल 2013 में भारतीय वायुसेना के स्काई लॉर्ड्स स्क्वाड्रन में शामिल किया गया था। जिसके बाद से इन विमानों ने कई तरह के ऑपरेशन को अंजाम दिया है। 

इसके जरिए भारत ने अंतरराष्ट्रीय स्तर पर शांति व्यवस्था, मानवीय सहायता और आपदा राहत प्रदान करने में महत्वपूर्ण योगदान दिया है। बोइंग कंपनी भारतीय वायुसेना के सी-17 बेड़े का रख-रखाव तकनीकी-लॉजिस्टिक सहायता और प्लेटफॉर्म का संचालन करने वाले हवाई कर्मचारियों के प्रशिक्षण के माध्यम से करता है।