नेशनल डेस्क। केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह ने गांधीनगर के मानसा गांव में पीएम मोदी के "मेरी माटी मेरा देश" अभियान के तहत, मातृभूमि के लिए प्राण न्यौछावर करने वाले नायकों को श्रद्धाजंलि अर्पित करते हुए स्मारक पट्टिकाओं का अनावरण किया। गृहमंत्री ने राष्ट्रीय सुरक्षा गार्ड (NSG) के क्षेत्रीय हब और गुजरात सरकार के विभिन्न विकास कार्यों की आधारशिला रखी। इससे पहले उन्होंने वृक्षारोपण अभियान में भाग लिया साथ ही 40 करोड़ रुपए की लागत से बनने वाली मानसा-बलवा 4 सड़क लेन, रजिस्ट्रार और चंद्रसार गांव में विकसित किए जा रहे तालाब का उद्घाटन किया। 

PM मोदी के विकासकार्यों का किया बखान 

कार्यक्रम को संबोधित करते हुए अमित शाह ने कहा कि,आजादी का अमृत महोत्सव 15 अगस्त 2023 को समाप्त हो रहा है। इस दौरान पीएम मोदी ने देश के लोगों में आजादी के लिए जान गंवाने वाले शूरवीरों के लिए सम्मान की भावना पैदा की है। अमृत महोत्सव 857 से 1947 तक देश के स्वतंत्रता संग्राम में अपने प्राणों का सर्वोच्च बलिदान देने वाले स्वतंत्रता सेनानियों को समर्पित है। मानसा गांव की बात करते हुए शाह ने कि 1857 की लड़ाई में इस गांव के पांच लोग शहीद हुए थे। प्रधानमंत्री मोदी ने देश के युवाओं के अंदर देशभक्ति की लौ जलाने का काम किया है। हमें स्वतंत्रता आंदोलन में भाग लेने और देश के प्राण देने का मौका नहीं मिला लेकिन देश के लिए जीने से हमें कोई नहीं रोक सकता। 

'भारत को नई ऊंचाइयों तक पहुंचाना हमारा लक्ष्य'

गृ़हमंत्री ने कहा कि,एक तरफ आजादी का अमृत महोत्सव का समापन हो रहा है तो दूसरी ओर आजादी का अमृतकाल शुरू हो रहा है। हमारा लक्ष्य 15 अगस्त 2023 से लेकर 15 अगस्त 2047 तक भारत को नई बुलंदियों पर पहुंचाना है। अगले 25 साल में भारत अंतरिक्ष,शिक्षा और सुरक्षा समेत हर क्षेत्र में नंबर वन होगा। वहीं शाह ने विपक्ष पर भी निशाना साधा। कहा कि पीएम मोदी के कार्यकाल से पहले भारत की अर्थव्यवस्था 11वें नंबर पर थे जो अब पांचवे नंबर पर आ गई है। 2047 तक भारत विश्व की तीसरी सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था होगी।

NSG का देश की सुरक्षा में अहम योगदान- शाह

अमित शाह ने आगे कहा कि, आज गुजरात में नेशनल सिक्योरिटी गार्ड (NSG) रीजनल हब की नींव रखी गई है। मुंबई, चेन्नई, हैदराबाद और कोलकाता में एनसजी के चार सेंटर मौजूद हैं और अब गुजरात में भी केंद्र खुलने जा रहा है। बता दें, NSG एक ऐसा संगठन है जो आतंवाद का मुकाबला करता है। इसका गठन ऑपरेशन ब्लू स्टार के बाद साल 1994 में किया गया था। इस उद्देश्य राष्ट्र के आतंरिक और बाहरी खतरों से निपटना है।