भारतीय विदेश मंत्रालय ने पाकिस्तान की ओर से आए बातचीत के प्रस्ताव को ‘अगंभीर’ करार दिया है। मंत्रालय के प्रवक्ता रवीश कुमार ने एक प्रेस कांफ्रेन्स करके कहा कि पाकिस्तान अपने देश के आर्थिक संकट से ध्यान भटकाने के लिए बातचीत का शिगूफा छोड़ रहा है।
भारतीय विदेश मंत्रालय ने एक बयान जारी करके कहा कि जब जब पाकिस्तान कहता है कि वह भारत के साथ बातचीत करने के लिए तैयार है। तब उसके मंत्री आतंकवादियों के साथ मंच साझा करते हुए दिख जाते हैं।
प्रवक्ता रवीश कुमार ने उदाहरण देते हुए कहा कि दिसंबर में इमरान खान ने जब भारत से बातचीत की बात कही तो उनके आंतरिक सुरक्षा राज्यमंत्री लश्करे तैयबा के सरगना हाफिज सईद के साथ एक ही मंच पर दिखे।
पाकिस्तान द्वारा कब्जाए गए कश्मीर में भी प्रधानमंत्री इमरान खान की पार्टी तहरीके इंसाफ के नेताओं ने हाफिज सईद के साथ मंच साझा किया।
विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता का कहना था कि अगर पाकिस्तान भारत से बातचीत करने के लिए तैयार है तो उसने मुंबई और पठानकोट पर हमले के दोषी आतंकियों के खिलाफ कार्रवाई क्यों नहीं की?
उन्होंने पूछा कि पाकिस्तान अपनी जमीन से आतंकवादी गतिविधियों की इजाजत क्यों देता है?
रवीश कुमार का कहना था कि पाकिस्तान अपने देश की आर्थिक बदहाली से लोगों का ध्यान हटाने के लिए बयानबाजी कर रहा है। इसमें कोई गंभीरता नहीं है।
Last Updated Jan 11, 2019, 4:25 PM IST