चमड़ा फैक्ट्रियों को बंद रखने का ये फैसला कुंभ मेले के दौरान गंगा के पानी को साफ बनाए रखने के लिए किया गया है।


बता दें कि इलाहाद में कुंभ की तैयारी जोर-शोर से चल रही है। मेला प्रशासन और अखाड़ा परिषद ने कुंभ की सफलता के लिए भूमि पूजन किया।


उधर, नमामि गंगे और नेशनल मिशन ऑफ क्लीन गंगा के तहत केंद्र सरकार ने तय किया है कि गंगा को 2022 तक पूरी तरह प्रदूषण मुक्त किया जाएगा। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने अधिकारियों को आदेश दिया है कि कन्नौज और कानपुर में चमड़ा उद्योग को सिलसिलेवार तरीके से बंद रखा जाए और ये तय किया जाए कि वो नमामि गंगे प्रोजेक्ट के हिसाब से ही काम करें। 


सूबे के मुखिया योगी आदित्यनाथ ने इस साल स्वतंत्रता दिवस के अपने भाषण में कहा था कि उनकी सरकार 2019 में शानदार और भव्य प्रयाग कुंभ का आयोजन करने के लिए प्रतिबद्ध है। आदित्यनाथ ने कहा था कि दुनिया भर से कुंभ में लाखों लोगों के शामिल होने की संभावना के चलते तमाम सुविधाएं सुनिश्चित करने के लिए कोई कसर नहीं छोड़ी जाएगी।


इलाहाबाद में आयोजित होने वाले कुंभ में करीब 12 करोड़ लोगों के आने की उम्मीद है।


सरकार के फैसले पर चमड़ा फैक्ट्री मालिकों का कहना है कि कानपुर का चमड़ा उद्योग पहले ही संकट के दौर से गुजर रहा है, अब सरकारी आदेश ने उनकी मुश्किल और बढ़ा दी हैं। दिसंबर से मार्च के बीच 3 महीने तक टेनरी के बंद होने से उद्योग का घाटा और बढ़ जाएगा और बड़ी संख्या में लोगों पर बेरोजगार होने का खतरा होगा।